UDAIPUR MURDER: हत्यारों के विदेशी लिंक खंगालने में जुटी NIA, पाकिस्तान से जुड़ा रिश्ता

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UDAIPUR MURDER INVESTIGATION: उदयपुर में टेलर कन्हैया लाल का सिर तन से जुदा करने वाले हत्यारे रियाज़ अत्तारी (RIYAZ ATTARI) और गौस मुहम्मद के कनेक्शन (CONNECTION) जानना अब हर कोई चाहता है। आजतक (AAJTAK) के रिपोर्टर की टीम भी इस तलाश में निकली और उदयपुर का चप्पा-चप्पा छानने में जुट गई।

टीम के पास जानने को था कि, आखिर इनका आका कौन है, क्योंकि गला काटकर, फिर हत्यारों का वीडियो बनाने का पैटर्न दुनिया के खूंखार आतंकी संगठन ISIS से मिलता-जुलता है।भारत में इस तरह की हत्या पहली बार की गई है। और यही मुल्क के हुक्मरानों के लिए सबसे बड़ी परेशानी की वजह भी है।

UDAIPUR MURDER: आजतक की टीम उदयपुर की मालदा स्ट्रीट इलाके में पहुंची जहां कन्हैया लाल की टेलर की दुकान सुप्रीम टेलर के नाम से रिश्तों में धागे पिरोती थी। ये दुकान फिलहाल देश की सबसे बड़ी जांच एजेंसी NIA के पास पहुँच चुकी है, क्योंकि इस वक़्त NIA की जांच चल रही है।
नूपुर शर्मा के समर्थन में पोस्ट करने वाले, कन्हैया लाल की जिस खौफनाक तरीके से बर्बर हत्या की गई है इसकी जांच नेशनल इनवेस्टिगेशन एजेंसी यानी NIA कर रही है। क्योंकि गृह मंत्रालय की तरफ से NIA को सीधा निर्देश है कि इस हत्या के पीछे विदेशी लिंक समेत गहरी साज़िश का पता लगाया जाए? ऐसे में NIA की एक विशेष टीम ने फॉरेंसिक एक्सपर्ट्स के साथ, मौका-ए-वारदात पर तफ्तीश शुरु कर दी है।
खुफिया सूत्रों से कुछ जानकारियां सामने ज़रूर आईं हैं। पता ये भी चला है कि इस बर्बर हत्या के पीछे एक लिंक पाकिस्तान भी जाता दिखाई देता है। क्योंकि कन्हैया का सिर काटने वाले दो आरोपियों का कनेक्शन कराची के सुन्नी इस्लामिक संगठन दावत-ए-इस्लामी से जुड़ रहा है।

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इस संगठन का कनेक्शन पाकिस्तान के कट्टरपंथी संगठन तहरीक-ए-लब्बैक से भी है। कन्हैया का सिर काटने वाले दोनों हत्यारे रियाज़ औऱ गौस, इस वक्त पुलिस की गिरफ्त में हैं। सूत्रों की मानें तो इन दोनों ने अब तक की पुलिस पूछताछ में कई चौंकाने वाले खुलासे किये हैं। बताया जा रहा है कि इसी पूछताछ में दोनों ने कराची में मौजूद संगठन दावत-ए-इस्लामी से कनेक्शन की बात भी मानी है।

UDAIPUR MURDER: आतंकरोधी अभियान के अधिकारियों के मुताबिक, इस बात की भी जांच की जा रही है कि क्या इनका भारत में मौजूद दूसरे कट्टरपंथी सुन्नी संगठनों और 'मुस्लिम ब्रदरहुड' से भी लिंक है। दोनों आरोपियों के खिलाफ UAPA के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है और केस को NIA के हवाले कर दिया गया।

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अब ये दावत-ए-इस्लामी क्या है...तो पहले इसे भी समझ लेते हैं।

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असल में ये संगठन 100 से ज़्यादा देशों में सक्रिय है और इस्लाम के प्रचार-प्रसार के लिए कई तरह के ऑनलाइन कोर्स भी चलाता है। दावत-ए-इस्लामी एक सुन्नी मुस्लिम संगठन है, इस संगठन का काम पैगंबर मुहम्मद साहब के संदेशों का प्रचार प्रसार करना है।

उदयपुर की घटना पैगंबर की बेअदबी से जुड़ी हुई है....क्योंकि दोनों हत्यारों ने वीडियो जारी करके कहा था कि इस्लाम और पैगंबर के अपमान का बदला है।

1981 में दावत-ए-इस्लामी का गठन मौलाना इलियास अत्तारी ने पाकिस्तान के कराची में किया था। इलियास अत्तारी के चलते दावत-ए-इस्लामी से जुड़े लोग अपने नाम के आगे अत्तारी लगाते हैं।

उदयपुर हत्याकांड का एक आरोपी मुहम्मद रियाज़ भी अपने नाम के साथ अत्तारी लगाता है।

UDAIPUR MURDER: भारत में दावत-ए-इस्माली संगठन पर कई बार धर्मांतरण के आरोप भी लगे हैं। ये संगठन अपनी वेबसइट पर एक न्यू मुस्लिम कोर्स भी संचालित करता है। ये कोर्स भी पूरी तरह से ऑनलाइन है। इसका मकसद धर्मांतरण कर नए-नए मुसलमानों को इस्लामी शिक्षाओं से रूबरू कराना है। इस कोर्स के माध्यम से धर्मांतरण करने वालों को जिहादी बनने की स्पेशल ट्रेनिंग दी जाती है।
दावत-ए-इस्लामी संगठन की शुरुआत भारत में 1989 से हुई थी। तब पाकिस्तान से उलेमा का एक प्रतिनिधिमंडल भारत आया था। दिल्ली औऱ मुंबई में इसका हेडक्वार्टर बताया जाता है।
अब उदयपुर हत्याकांड में केंद्रीय गृह मंत्रालय ने NIA को हर एंगल से जांच करने के निर्देश दिये हैं, तो राजस्थान सरकार भी स्पेशल टीमें गठित करके, इस हत्याकांड के पीछे की पूरी सच्चाई पता लगाने में जुटी है।

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