इसके आगे तो 'दृश्यम' भी फेल है! 30 साल पहले पत्नी और बेटों ने शख्स को मारकर घर में किया था दफन, अब खुला राज

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इसके आगे तो 'दृश्यम' भी फेल है! 30 साल पहले पत्नी और बेटों ने शख्स को मारकर घर में किया था दफन, अब खुला राज
Hathras
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UP News: उत्तर प्रदेश के हाथरस में एक चौंकाने वाली घटना सामने आई है, जहां एक गांव के घर के आंगन में लगभग 30 साल पुराना मानव कंकाल मिला है। इस घटना ने इलाके में सनसनी फैला दी। मृतक के सबसे छोटे बेटे पंजाबी सिंह ने आरोप लगाया कि उसके दो बड़े भाइयों ने 1994 में अपने पिता की हत्या कर दी थी और उनके शव को घर के आंगन में दफना दिया था। यह घटना तब सामने आई जब खुदाई के दौरान कंकाल बरामद हुआ। पंजाबी सिंह का दावा है कि उसके पिता बुद्ध सिंह 1994 में अचानक लापता हो गए थे और उसके बाद कभी वापस नहीं लौटे।

30 साल पुराने मानव कंकाल की बरामदगी से फैली सनसनी

मामला तब सामने आया जब सबसे छोटे बेटे पंजाबी सिंह ने अपने बड़े भाइयों पर हत्या का आरोप लगाते हुए हाथरस के जिला मजिस्ट्रेट (डीएम) रोहित पांडे के ऑफिस में शिकायत दर्ज कराई। पंजाबी सिंह ने बताया कि उसके दो बड़े भाइयों और गांव के एक व्यक्ति ने मिलकर उसके पिता की हत्या की थी और उनके शव को घर के आंगन में दफना दिया था। यह घटना मुरसान थाना क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले गिलौंदपुर गांव की है। इस शिकायत के बाद डीएम पांडे के आदेश पर गुरुवार रात को पुलिस की मौजूदगी में घर की खुदाई करवाई गई, जिसमें कंकाल बरामद हुआ।

पिता की हत्या का आरोप, खुदाई में मिला कंकाल

खुदाई के दौरान कंकाल मिलने के बाद पुलिस ने इसे पोस्टमार्टम और डीएनए जांच के लिए भेज दिया है। मुरसान थाना प्रभारी विजय कुमार सिंह ने बताया कि शिकायतकर्ता पंजाबी सिंह ने डीएम कार्यालय में अपने पिता की हत्या की शिकायत दर्ज कराई थी, जिसके आधार पर खुदाई की गई। खुदाई के बाद कंकाल मिलने से यह मामला और गंभीर हो गया है। अब डीएनए रिपोर्ट के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी। पुलिस का कहना है कि फिलहाल इस मामले में कोई औपचारिक एफआईआर दर्ज नहीं की गई है और जांच जारी है।

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डीएनए रिपोर्ट से खुलेगा रहस्य

शिकायतकर्ता पंजाबी सिंह ने बताया कि जब उसके पिता की हत्या हुई थी, तब वह सिर्फ 9 साल का था। उसने बताया कि 1994 में उसके पिता और भाइयों के बीच किसी बात को लेकर विवाद हुआ था, जिसके बाद उसके पिता लापता हो गए थे। इस घटना के बाद से ही उसे संदेह था कि उसके बड़े भाइयों ने पिता की हत्या कर दी है और शव को घर में ही दफन कर दिया है। हालांकि, इतने सालों तक उसने इस बारे में कोई शिकायत दर्ज नहीं कराई थी, लेकिन अब उसने हिम्मत जुटाकर प्रशासन को इस बारे में जानकारी दी।

9 साल की उम्र में पिता के गायब होने का था संदेह

बुद्ध सिंह, जो पेशे से किसान थे, अपनी पत्नी उर्मिला और चार बेटों के साथ रहते थे। उनके बेटों में सबसे बड़े प्रदीप, मुकेश, बस्तीराम और सबसे छोटे पंजाबी सिंह हैं। घटना के वक्त, पंजाबी सिंह केवल 9 साल के थे, और उन्होंने अब, 39 साल की उम्र में, अपने पिता की हत्या के बारे में आरोप लगाया है। पंजाबी सिंह ने अपनी शिकायत में उस जगह का जिक्र भी किया था, जहां उसे शक था कि उसके पिता को दफनाया गया था। पुलिस अब डीएनए परीक्षण के परिणामों का इंतजार कर रही है ताकि मामले में आगे की सच्चाई का पता लगाया जा सके। 

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30 साल बाद दर्ज कराई शिकायत

इस घटना ने पूरे इलाके को हिलाकर रख दिया है, और अब लोग इस मामले के समाधान की प्रतीक्षा कर रहे हैं। जांच के बाद ही यह साफ हो पाएगा कि क्या वाकई 30 साल पहले बुद्ध सिंह की हत्या की गई थी या यह महज एक संयोग है। फिलहाल, पुलिस की जांच जारी है और आगे की कार्रवाई डीएनए रिपोर्ट के आने के बाद ही की जाएगी।

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