1 दिसंबर को आफताब बताएगा श्रद्धा मर्डर का एक एक सच, नार्को टेस्ट से खुलेगा हर राज़!

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Shraddha Murder Case: 1 दिसंबर की तारीख दिल्ली पुलिस (Delhi Police) के लिए बेहद अहम होने वाली है। और साथ ही ये तारीख इस साल की सबसे बड़ी मर्डर मिस्ट्री (Murder Mystery) के लिए भी बेहद अहम हो सकती है क्योंकि इसी तारीख को दिल्ली पुलिस के कब्ज़े से निकलकर तिहाड़ (Tihar) जा पहुँचे श्रद्धा मर्डर का आरोपी विज्ञान (Science) के उस रसायन घोल के असर में होगा जिसके असर में आते ही बड़े से बड़ा शातिर और धुरंधर से धुरंधर बदमाश भी धारा प्रवाह सच बोलने लगता है।

लोगों को तीस साल पुराने अब्दुल करीम तेलगी, या फिर 26/11 हमले का मुजरिम अजमल कसाब या फिर अंडरवर्ल्ड डॉन अबू सलेम का नार्को टेस्ट होते हुए टीवी के पर्दे पर ज़रूर देखा होगा...और उनके जेहन में उसकी याद भी एकदम ताजा होगी कि डॉक्टरों की देख रेख में ऐसे लोगों से कैसे कैसे सवाल किस किस तरह से पूछे जाते हैं और उस अपराधी के सीने में छुपे राज को कैसे कैसे बाहर निकाला जाता है।

Aaftab Narco Test: हालांकि क़ानूनी तौर पर नार्कों टेस्ट को किसी भी तरह से मुकदमें के लिए पुख्ता साक्ष्य के तौर पर मान्यता नहीं दी जाती, बावजूद इसके पुलिस नार्को टेस्ट करवाती है। क्योंकि जब भी पुलिस को लगता है कि उसकी गिरफ्त में मौजूद अपराधी जो कुछ भी बता रहा है उसका उसके किए गए अपराध के सबूतों से कोई लेना देना नहीं...

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या फिर वो अपराधी किसी सच को छुपाकर कानून के सिपाहियों की जांच की बिखरी हुई कड़ियों को जोड़ने में मददगार साबित नहीं हो रहा है तो उसके सीने में छुपे उन राज़ को बाहर लाने के लिए पुलिस ऐसा करती है और पुलिस को ऐसा करने के लिए खुद अदालत ही इसकी इजाजत भी देती है।

ताकि पुलिस इस जांच के बाद उसके सीने से बाहर आ चुके राज़ को अपनी तफ्तीश का हिस्सा बना सके और उसके जरिए बिखरी हुई कड़ियों को आपस में जोड़कर मुकदमें को मुकम्मल कर सके।

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Mehrauli Murder Case: इससे अपराधी को उसके किए की सच्ची और पक्की सज़ा दिलाने में सहूलियत होती है और बेगुनाह को सज़ा दिलाने के गुनाह से पुलिस खुद बच जाती है।

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बस श्रद्धा मर्डर केस में भी ऐसा ही कुछ होने वाला है। 1 दिसंबर को श्रद्धा मर्डर केस के आरोपी आफताब का नार्को टेस्ट होगा। और इस टेस्ट के दौरान आफताब नीम बेहोशी की हालत में उन सवालों से होकर गुज़रेगा कि जिनका ताल्लुक श्रद्धा मर्डर केस से है।

जाहिर है कि इस टेस्ट के दौरान पुलिस उससे उन सवालों के जवाब हासिल करना चाहती है जिनके सहारे से वो इस केस की बाकी बची गुत्थी को आसानी से सुलझा सके।

अब सवाल यही है कि अभी तक आफताब का जो पॉलीग्राफ टेस्ट हुए उस जांच में सामने क्या क्या आया?
1- पॉलीग्राफी टेस्ट में आफताब ने श्रद्धा की हत्या की बात कबूल कर ली है...
2- पॉलीग्राफी टेस्ट में महरौली के जंगलों से श्रद्धा के शव के टुकड़ों की बात बताई जिसे 13 टुकड़े हड्डियों के अलावा जबड़े की शक्ल में पुलिस हासिल भी कर चुकी है...
जो कुछ मिला है उसकी फॉरेंसिक जांच के साथ साथ उसका DNA जांच करवाई जा रही है।
3- पॉलीग्राफी टेस्ट में ही आफताब ने पुलिस को गुरुग्राम में हथियार और लाश के टुकड़े छुपाने की बात की पुष्टि की जिसे पुलिस ने रिकवर करने का दावा किया है।
4- आफताब के फ्लैट के बाथरूम और किचन के अलावा CFSL को बैडरूम से भी खून के धब्बों
के सैंपल मिलने का दावा किया गया है..
5- इसके अलावा दिल्ली पुलिस ने कुछ हथियार बरामद करने का दावा किया है। जिन हथियारों से आफताब ने शव के टुकड़े किए।
6- पॉलीग्राफी टेस्ट से ये भी बात खुल गई कि आखिर इस कत्ल की वजह क्या थी...जैसा आफताब ने कबूल किया कि श्रद्धा आफताब को छोड़ना चाहती थी, और वो ये नहीं चाहता था...

पुलिस को इसी बात का शक है कि श्रद्धा की हत्या एक सोची समझी साज़िश है...और इसे आफताब ने बहुत सोच समझकर पूरी प्लान करके ठंडे दिमाग से अंजाम दिया और फिर उसके सबूत और सुराग मिटाए..लेकिन पुलिस की जांच में आफताब ने बता तो सब कुछ दिया मगर पुलिस को अब भी लगता है कि कुछ राज उसके सीने में अब भी कैद हैं...

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