कानपुर में डबल मर्डर की पूरी कहानी, कैसे बेटी ने प्रेमी संग लिखी अनोखी हत्या की काली स्क्रिप्ट

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UP Kanpur Double Murder Crime Story : यूपी के शहर कानपुर में दो हत्याएं एक साथ. दोनों मौत से ठीक पहले वॉट्सऐप पर आत्महत्या (Suicide) करने का मैसेज. पर मौत गला काटकर. मौत भी पति और पत्नी का.

जबकि इनके साथ बेटा और बेटी भी थी. बेटा तो पहली मंजिल पर था. पर बेटी साथ में थी. फिर भी दो मौतें. और कोई चीखपुकार नहीं. तो क्या ये वाकई आत्महत्या थी. या फिर मर्डर. आज क्राइम की कहानी (Crime Stories in Hindi) में कानपुर डबल मर्डर (Kanpur Double Murder) की पूरी कहानी.

Crime Ki Kahani : यूपी का इंडस्ट्रियल शहर कानपुर. तारीख 5 जुलाई. सुबह के करीब 4 बजे. जगह कानपुर का बर्रा इलाका. तड़के भी इक्का-दुक्का चहलकदमी. किसी को दुकान खोलने की तैयारी तो किसी को स्टेशन जाना. पर सन्नाटा वैसे ही. जैसा दूसरे घरों में था. लेकिन एक घर में खूनी खेल हो रहा था. बर्रा के एक मकान में.

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यहां रहने वाले 61 साल के एक शख़्स और उनकी 55 साल की बीवी का किसी ने घर में घुस कर मर्डर कर दिया. ये हत्या भी ऐसी-वैसी नहीं बल्कि बडे ही खौफनाक तरीके से चापड़ से गला काटकर. अब सूरज की किरणें रात के सन्नाटें चीर रहीं थीं. और उसी दरम्यान बर्रा के घर से चीखें सुनाईं देने लगीं थीं. घर में दो-दो कत्ल.

और फिर भयंकर चीख पुकार. देखते ही देखते खबर मोहल्लेवालों तक पहुंची और अगले कुछ पलों में कानपुर पुलिस मौका ए वारदात पर मौजूद थी. कातिलों ने ऑर्डिनेंस फैक्टरी के रिटायर्ड सुपरवाइजर मुन्नालाल और उनकी बीवी राजदेवी का कत्ल तब किया था, जब दोनों गहरी नींद में सो रहे थे.

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Murder Mystery Story in Hindi : रात के सन्नाटे और सुबह से ठीक पहले वाले अंधियारे में हुए इस कत्ल ने कई सवाल उठा दिए. मसलन, आखिर क्यों हुआ ये कत्ल? रात के अंधेरे में घर के अंदर घुस कर कातिलों ने आखिर क्यों ली एक बुजुर्ग दंपति की जान? मुन्नालाल और उनकी बीवी से किसी की भी ऐसी क्या दुश्मनी थी?

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इस घर में बुजुर्ग दंपति के अलावा उनका एक बेटा और बेटी भी रहते थे, लेकिन घर में हुई इतनी बड़ी वारदात का किसी को पता कैसे नहीं चला? और सबसे बड़ा सवाल ये कि आखिर रात के अंधेरे में कातिल चुपचाप घर के अंदर कैसे घुस आए? उनका किसी ने विरोध क्यों नहीं किया? या फिर विरोध किया तो चीखने-चिल्लाने की आवाज बाहर तक क्यों नहीं आई. ऐसे तमाम सवाल. पर जवाब अभी फिलहाल नहीं था.

अब मामले की जांच के लिए पहुंची कानपुर पुलिस इन्हीं सवालों के जवाब टटोलने की कोशिश करने लगी और तफ्तीश घरवालों से पूछताछ के साथ ही शुरू होनी थी. इस परिवार के चार में से दो लोगों का तो कत्ल हो चुका था, बाकी बचे थे दो लोग. जिनसे पूछताछ ज़रूरी थी, लेकिन अपने मां-बाप को खोकर दंपति के बेटे और बेटी दोनों का बुरा हाल था. ऐसे में पुलिस के पास इंतज़ार करने के सिवाय कोई चारा नहीं था.

तब तक मौका ए वारदात पर पहुंची फॉरेंसिक टीम ने तमाम सबूत इकट्ठा किए. दोनों लाशों को बरामद कर पोस्टमार्टम के लिए भिजवाया गया, ताकि कत्ल का तरीका और साफ़ हो सके. और इसी के साथ पुलिस ने बुजुर्ग दंपति के मोबाइल फ़ोन और उनके मोबाइल नंबरों की भी जांच शुरू की, ताकि अगर कोई संदिग्ध बात सामने आए, तो उसकी पड़ताल की जा सके.

अब मरने वाले के बेटे से पूछताछ की गई. तब उसने बताया कि आधी रात उसके मां-बाप की हत्या कातिलों ने चापड़ से गला काट कर दी और उसे कुछ पता ही नहीं चला, क्योंकि वो फर्स्ट फ्लोर पर बने कमरे में सो रहा था, जबकि नीचे उसके मम्मी-पापा और उसकी बहन सो रही थी. पापा बाहरवाले कमरे में थे, जबकि मम्मी और बहन अंदर वाले कमरे में साथ सोई थी.

सुबह-सुबह उसकी बहन ने ही उसे ऊपर जाकर नींद से जगाया और बताया कि किसी ने उनके मम्मी-पापा का कत्ल कर दिया है. हालांकि इस बयान के साथ-साथ बेटे ने एक और गौर करनेवाली बात कही, वो ये कि बीती रात को उसे चक्कर सा आ रहा था और उसे शक है कि किसी ने उनके खाने में कुछ मिला दिया था. मगर, हैरानी की बात ये थी कि तब तक उनके घर में बाहर से कोई आया भी नहीं था.

बेटे के इस बयान से दो सवाल खड़े हो रहे थे. पहला तो ये कि जब क़त्ल से पहले घर में बाहर से कोई आया नहीं था, तो फिर उनके खाने में कोई नशीली चीज़ किसने मिलाई? और दूसरा ये कि जब बहन मां के साथ ही सो रही थी, तो फिर उसे अपनी मां पर हुए हमले का पता क्यों नहीं चला? वाकई. मामला बड़ा ही अजीब था.

अब पुलिस ने इस घर की बेटी से पूछताछ शुरू की. कोमल ने भी तकरीबन वही कहानी सुनाई, जो उसका भाई सुना रहा था. यानी कातिल आधी रात घर में घुस कर मम्मी पापा की जान लेकर चले गए और जब तक उसकी नींद खुली कातिल घर से निकल चुके थे.

हालांकि उसने एक नई बात ज़रूर कही थी कि उसने तीन नकाबपोश कातिलों को घर से भागते हुए देखा था. और इनमें उसके भाई अनूप का छोटा वाला साला मयंक गुप्ता भी शामिल था. अब पुलिस ने एक बार फिर घर के बेटे अनूप से बात करने का फैसला किया.

असल में अनूप का अपनी पत्नी के साथ तलाक का केस चल रहा था और उसकी पत्नी इन दिनों अलग रहती थी. मुआवजे के तौर पर पत्नी और उसके घरवालों ने अनूप और उसके घरवालों से 50 लाख रुपये की मांग भी रखी थी. ऐसे में अनूप जो कहानी सुना रहा था, उसके मुताबिक उसके मां-बाप का कत्ल उसके सालों ने ही किया था.

इसके अलावा शक पड़ोसी एक दुकानदार पर भी था. इसलिए पुलिस अभी सभी एंगल से जांच कर रही थी. इसमें सबसे बड़ा शक अनूप के एक साले समेत तीन नकाबपोश कातिलों पर था. जो आधी रात चुपके से घर में घुस आए थे, ऐसे में पुलिस ने गली में लगे सीसीटीवी कैमरों की फुटेज देखने का फ़ैसला किया.

लेकिन फुटेज में कुछ अलग ही कहानी नजर आ रही थी. फुटेज में तीन नकाबपोश कातिलों की जगह सिर्फ एक ही नकाबपोश शख्स खाली हाथ पैदल घर की तरफ आता दिख रहा था और करीब 1 घंटे के बाद वो पैदल ही वापस जाता भी दिखा, लेकिन वापसी में उसके साथ में एक बैग ज़रूर मौजूद था. ज़ाहिर है जब तीन नकाबपोश कातिल की जगह यही इकलौता शख्स कैमरे में कैद हुआ था, तो शक इसी शख्स पर होना लाज़िमी था.

इसी के साथ कई ऐसी बातें थीं, जो शक पैदा कर रही थीं. अब ये भी पता चला कि कातिलों ने घर में घुस कर हत्या की, लेकिन घर में किसी को इस बात का पता नहीं चला. ख़ासकर बेटी को जो खुद मां के साथ एक ही बिस्तर पर सो रही थी. ऐसा कैसे हो सकता है. बेटी ने बताया कि उसने तीन नकाबपोश कातिलों को भागते हुए देखा था, तो फिर सवाल ये था कि उसने शोर क्यों नहीं मचाया? क़ातिल घर में इतने आराम से कैसे दाखिल हो गए? जबकि आम तौर पर रात को लोग दरवाज़ा बंद करके सोते हैं.

ये बातें घर की बेटी कोमल को शक के दायरे में ला रही थी. अब जब पुलिस ने उससे गहन पूछताछ की, तो वो कई सवालों का जवाब देने में लड़खड़ाने लगी. खास कर घर का दरवाज़ा खुला होने, कातिलों को देखने के बावजूद उसके चुप रह जाने, दो-दो क़त्ल के बावजूद खुद के बेख़बर होने का उसके पास कोई जवाब नहीं था.

ऐसे में जब पुलिस ने उससे सख्ती की तो आख़िरकार उसने मान लिया कि उसी ने अपने आशिक रोहित के साथ मिलकर अपने मां-बाप की आधी रात घर में हत्या की है. पूछताछ में कोमल ने बताया कि उसने रोहित के साथ मिलकर इस कत्ल की प्लानिंग की थी.

यहां तक कि वो मां-बाप के अलावा अपने भाई अनूप की भी जान लेना चाहती थी. कुछ इसी इरादे ने उसने बीती रात मां-बाप के साथ-साथ भाई को भी जूस में जहर मिलाकर दिया था, लेकिन भाई ने जूस पूरा नहीं पीया और जिंदा बच गया.

जबकि मां-बाप जूस पीकर सो गए. कत्ल के दौरान भी आधी रात उसने ऊपर जाकर अपने भाई अनूप को जगाने की कोशिश की थी, ताकि पेमी के हाथों उसका भी गला काट दिया जा सके, लेकिन गहरी नींद में सो रहे अनूप ने पहली बार में दरवाज़ा नहीं खोला और तब मां-बाप की जान लेकर ही आशिक रोहित फरार हो गया. और प्लान-B के मुताबिक उसने अपने भाई को जगा कर मां-बाप के क़त्ल का ड्रामा शुरू कर दिया.

पुलिस की पूछताछ में घर की बेटी कोमल अपने मां-बाप की जान लेने की बात क़बूल कर चुकी थी. लेकिन सवाल ये था आख़िर एक बेटी ने अपने ही मां-बाप की जान क्यों ली? और वो भी इतने भयानक तरीके से? उसने कत्ल की ये पूरी साजिश कैसे रची? और क्यों वो अपने भाई की भी जान लेना चाहती थी?

आगे पढ़ेंगे : कानपुर डबल मर्डर को अंजाम देने वाली बेटी सगी थी या कोई और...

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पुलिस की पूछताछ में बेटी ने पूरी कहानी सुनाई. असल में कोमल को अब से कोई 24 साल पहले मुन्नालाल और राजदेवी ने अपने एक रिश्तेदार से गोद लिया था. उन्हें कोई बेटी नहीं थी. यही वजह है कि उन्होंने कोमल को गोद लेकर बडे नाजों से पाला था. लेकिन उन्हें क्या पता था कि एक दिन उनकी यही गोद ली हुई बेटी उनके कत्ल की वजह बन जाएगी.

कोमल उसी मोहल्ले में रहनेवाले एक लड़के रोहित से प्यार करती थी. और उससे शादी करना चाहती थी. कोमल के रोहित के भाई राहुल से भी अच्छे संबंध थे. लेकिन कोमल के मां-बाप इस रिश्ते पर राज़ी नहीं थे.

उधर, भाई अनूप का अपनी ही बीवी और ससुरालवालों से विवाद चल रहा था. ससुरालवाले 50 लाख रुपये मांग रहे थे और ऐसे मुन्नालाल अपना मकान बेचने के बारे में भी सोच-विचार कर रहे थे. जिससे कोमल घबराने लगी थी. उसे लग रहा था कि अगर उसके पिता ने प्रॉपर्टी बेच दी, तो उसे कुछ नहीं मिलेगा.

Ritika Murder : दीवानगी, शक और 50 लाख, आगरा की ब्लॉगर रितिका मर्डर की पूरी कहानी

ऐसे में एक तो पिता के प्रॉपर्टी की चाहत और दूसरा पेमी से शादी कर चैन की जिंदगी. इन दो ख्वाहिशों के चलते उसने इतनी बडी साज़िश रच डाली. वो मारना तो अपने भाई को भी चाहती थी. इसलिए उसने उसके जूस में भी जहर मिला दिया था, लेकिन भाई ने जूस कड़वा होने की वजह से पूरा नहीं पिया और बच गया. इ्तेफाक से उसने खुद को जगाने की पहली कोशिश में दरवाजा भी नहीं खोला और इस तरह उसकी जान बच गई.

कोमल ने अपने आशिक रोहित के भाई से मुंबई से जहर मंगवाया था, जो उसने जूस में मिला दिया था. उसकी साजिश ये थी कि सभी को जूस में जहर मिला कर मारने के बाद इसे आत्महत्या का रूप देना था.

इसी इरादे से उसने अपने माता-पिता के मोबाइल से खुद को एक आत्महत्या जैसा एक मैसेज भी भेज कर रख लिया था. वो इसे भाई के वैवाहिक विवाद के चलते तीनों के आत्महत्या का रूप देना चाहती थी. मगर, इससे पहले कि उसकी साजिश कामयाब होती, दोहरे कत्ल का भेद खुल गया और वो पकड़ी गई.

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