जापान में आसान नहीं है हथियार खरीदना तो फिर हमलावर को कैसे मिली डबल बैरल शॉट गन?

GOPAL SHUKLA

08 Jul 2022 (अपडेटेड: Mar 6 2023 4:22 PM)

SHINZO ABE SHOT: जापान (JAPAN) के नारा (NARA) शहर में शिंजो आबे को जिस डबल बैरल शॉट गन (DOUBLE BARREL SHOTGUN ) से गोली मारी गई उसका हमलावर तक पहुँचना अपने आप में एक पहेली है।

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SHINZO ABE SHOT: जापान (JAPAN) के नारा शहर में पूर्व प्रधानमंत्री (Ex Prime Minister) शिंजो आबे को गोली मार (Shot) दी गई। शिंजो आबे को गोली मारने वाला (Attacker) पकड़ा भी गया, उसकी पहचान भी पुलिस ने कर ली और उसने जिस हथियार से गोली मारी थी वो हथियार भी बरामद कर लिया गया है।

लेकिन सवाल उठता है कि जिस डबल बैरल शॉट गन से शिंजो आबे पर गोली चलाई गई वो शॉटगन आखिर उस हमलावर तक आई कैसे...क्योंकि जापान में छोटे हथियारों की खरीद पर करीब करीब पाबंदी है।

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जापान में छोटे हथियारों को खरीदना मुश्किल ही नहीं लगभग नामुमकिन है। हथियारों के जानकारों के मुताबिक जापान में आम लोगों के लिए हथियारों के लाइसेंस के नियम बेहद कड़े हैं...जिसकी वजह से वहां आम लोगों का हथियारों को खरीदना बेहद मुश्किल काम है।

ऐसे में यही सवाल उठ खड़ा होता है कि पूर्व प्रधानमंत्री शिंजो आबे पर जिस हथियार से गोली चलाई गई वो हमलावर तक कैसे पहुंचा।

SHINZO ABE SHOT : सबसे पहले तो यही समझ लेते हैं कि जिस हमलावर ने शिंजो आबे को गोली मारी उसकी पहचान क्या है। जापान की न्यूज़ एजेंसी NHK के मुताबिक पुलिस ने शिंजो आबे को गोली मारने के इल्ज़ाम में जिस हमलावर को गिरफ़्तार किया है उसकी पहचान यामागामी तेत्सुवा के तौर पर हुई है। यामागामी तेत्सुवा 41 साल का है।

और पुलिस की अब तक की पड़ताल में ये सामने आया है कि इस हमलावर का ताल्लुक जापान की नौसेना से था।.और यहीं से उसके पास हथियार होने के बारे में अंदाज़ा मिल जाता है कि जापान की पुलिस सेवा या सेना के पूर्व सैनिकों को कुछ छोटे हथियार अपने पास रखने की इजाजत मिल जाती है। या फिर जापान के ग्रामीण इलाक़ों में जहां जंगली जानवरों के हमले का खतरा होता है उन नागरिकों को ऐसे छोटे हथियार रखने की इजाजत मिलती है। लेकिन उसके लिए उन्हें कई शर्तों को पूरा करना जरूरी होता है।

मसलन हथियार खरीदते समय उन्हें इस बात को साबित करना होता है कि उन्हें या उनके परिवार को जंगली जानवरों से खतरा है। इसके अलावा हथियारों के इस्तेमाल के बारे में भी शर्त यही रखी जाती है कि जब कभी भी किसी भी हथियार का इस्तेमाल किया जाए तो उसके बारे में स्थानीय प्रशासन को इसकी पूरी जानकारी देनी ज़रूरी है।

इसके अलावा जापान में जिन लोगों के पास हथियारों के लाइसेंस दिए जाते हैं उनकी पहचान और उनका निरीक्षण समय समय पर प्रशासनिक अधिकारी करते भी रहते हैं। साथ ही हथियारों का लाइसेंस रखने वालों को हथियार के साथ साथ गोलियों के बारे में भी प्रशासन को सूचना देते रहना होता है।

SHINZO ABE SHOT जिस डबल बैरल शॉट गन से शिंजो आबे पर हमला हुआ उसमें दो गोलियों को एक साथ लोड किया जा सकता है और उससे एक के बाद एक दो फायर किए जा सकते हैं। जिस वक़्त शिंजो आबे पर हमला हुआ वहां चश्मदीदों ने दो फायर की आवाज़ सुनी। जिसमें से एक गोली शिंजो आबे को लगी और उनका सीना छलनी हो गया।

सवाल उठता है कि आखिर एक पूर्व नौसैनिक ने इतना संगीन जुर्म क्यों अंजाम दिया। और जापानी पुलिस उस हमलावर से पूछताछ करके अब यही उगलवाने में लगी है कि आखिर उसने ये काम क्यों और किसके इशारे पर अंजाम दिया।

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