कानपुर पुलिस ने चुरा लिए लाश के जेवर, जिंदा तो छोड़िए मुर्दे को लूटा, दोषी पुलिस वालों की अब खैर नहीं!

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कानपुर पुलिस ने चुरा लिए लाश के जेवर, जिंदा तो छोड़िए मुर्दे को लूटा, दोषी पुलिस वालों की अब खैर नहीं!
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न्यूज़ हाइलाइट्स

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शव से जेवर चोरी करते थे पुलिस वाले

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पुलिस इंस्पेक्टर का गजब कांड

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जांच में पूरा मामला खुलकर सामने आया

Kanpur Police News: आदमी की नीयत खराब हो तो वो कुछ भी कर सकता है। ताजा मामला कानपुर का है। यूं तो जिंदा लोगों को पुलिस लूटती रहती है। यहां पुलिस वालों ने मुर्दे को भी नहीं बख्शा। पुलिस वालों ने लाश के शरीर से जेवर चुरा लिए। जब इसकी भनक अधिकारी को लगी तो पुलिसवालों के खिलाफ कार्रवाई तो हुई, लेकिन शायद ये कार्रवाई मुनासिब नहीं थी। अब पुलिसवालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के लिए एक सीनियर अधिकारी ने कमर कस ली है। कानपुर के नजीराबाद थाने का मामला है। यहां राम कृष्णनगर इलाका पड़ता है। घटना 12 अप्रैल 2023 की है। 

ये पुलिसवाले हैं या चोर!

यहां निखिल नाम के एक युवक ने अपनी मां राजकुमारी का कत्ल करने के बाद खुदकुशी कर ली थी। नजीराबाद पुलिस मामले की जांच कर रही थी। उस वक्त इस थाने के प्रभारी कौशलेंद्र प्रताप सिंह थे और चौकी इंचार्ज रवि कुमार थे। आरोप है कि इन्होंने ने शव के पोस्टमार्टम के दौरान राजकुमारी की सोने की चेन, अंगूठियां और कंगन अपने कब्जे में ले लिए। ये बात राजकुमारी के दूसरे बेटे जितेंद्र को पता चली। यहां तक कि पुलिस ने शव के पंचनामे और केस की जनरल डायरी में भी इस बात का जिक्र तक नहीं किया। 

एडिश्नल सीपी बोले - चेतावनी से काम नहीं चलेगा

आरोप है कि जब परिजन अंतिम संस्कार करने के बाद नजीराबाद थाने में जेवर लेने गए तो उन्हें धमका कर भगा दिया गया। 22 जून 2023 को जितेंद्र ने आईजीआरएस पोर्टल पर मामले की शिकायत दर्ज कराई। इस बीच निखिल की पत्नी का विवाद भी परिवार से चल रहा था। आरोप है कि पुलिस वालों ने निखिल की पत्नी के साथ मिलकर 23 जून को जितेंद्र के खिलाफ चोरी की शिकायत दर्ज कर ली। जितेंद्र ने ये बातें सीनियर पुलिस अधिकारियों को बताई। इसके बाद उसके आरोप पर पुलिस कमिश्नर ने डीसीपी साउथ रवींद्र कुमार को जांच सौंप दी।   

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 DCP ने सजा की जगह बस चेतावनी देकर छोड़ा

जांच के बाद अब डीसीपी साउथ ने पुलिसवालों को दोषी माना है। डीसीपी ने थाना प्रभारी, चौकी प्रभारी समेत अन्य पुलिस कर्मियों को चेतावनी जारी कर जांच खत्म कर दी, लेकिन जब ये मामला एडिश्नल पुलिस कमिश्नर मुख्यालय पहुंचा तो उन्होंने डीसीपी की दी गई सजा को सजा ही नहीं माना। एडिश्नल पुलिस कमिश्नर विपिन मिश्रा ने दोषी पुलिस वालों के खिलाफ विभागीय दंड तय करने के निर्देश दिए। अब डीसीपी इसको लेकर दोबारा से दंड तय करेंगे ताकि दोषियों को सबक मिल सके।

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