गाजियाबाद में गेमिंग ऐप से धर्मांतरण केस का मास्टरमाइंड शाहनवाज उर्फ बद्दो गिरफ्तार, ऐसे रची थी साजिश
Up News: यूपी पुलिस ने आरोपी शाहनवाज खान उर्फ बद्दो को ऑनलाइन गेमिंग एप्लीकेशन के जरिए बच्चों के धर्म परिवर्तन में शामिल रैकेट चलाने के आरोप में महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले से गिरफ्तार किया है.
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Up News: यूपी पुलिस ने आरोपी शाहनवाज खान उर्फ बद्दो को ऑनलाइन गेमिंग एप्लीकेशन के जरिए बच्चों के धर्म परिवर्तन में शामिल रैकेट चलाने के आरोप में महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले से गिरफ्तार किया है. एक अधिकारी ने बताया कि उसे अलीबाग शहर से गिरफ्तार किया गया है. आरोपी ठाणे जिले के मुंब्रा का रहने वाला है. गाजियाबाद पुलिस लगातार उसकी तलाश कर रही थी.
गौरतलब है कि पिछले दिनों गाजियाबाद में एक ऑनलाइन गेमिंग एप्लीकेशन के जरिए धर्म परिवर्तन का मामला सामने आया था. इसमें शाहनवाज खान और गाजियाबाद की एक मस्जिद के मौलवी के खिलाफ अवैध धर्मांतरण निषेध अधिनियम के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई थी. पुलिस ने कहा था कि गाजियाबाद के एक व्यक्ति ने पिछले महीने शिकायत दर्ज कराई थी कि मौलवी अब्दुल रहमान और बद्दो ने हाल ही में 12वीं पास करने वाले उसके बेटे का धर्मांतरण कराया था.
'बद्दो के कहने पर कबूला इस्लाम'
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शिकायतकर्ता ने आरोप लगाया था कि उसका बेटा एक ऑनलाइन गेमिंग ऐप के जरिए बद्दो के संपर्क में आया और उससे अक्सर बात करता था. इसके बाद उनका रुझान इस्लाम अपनाने की ओर हुआ. लड़के ने अपने पिता से कहा था कि बद्दो के समझाने पर उसने इस्लाम कबूल कर लिया है.
'लड़के का जबरन धर्म परिवर्तन कराने का आरोप'
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इस मामले में मुंब्रा पुलिस और गाजियाबाद पुलिस ने मिलकर शाहनवाज को महाराष्ट्र के अलीबाग से गिरफ्तार किया है. शाहनवाज पर लड़के का जबरन धर्म परिवर्तन कराने का आरोप है. अलीबाग और मुंब्रा पुलिस पिछले कई दिनों से संयुक्त अभियान के तहत शाहनवाज की तलाश कर रही थी. लेकिन वह बार-बार ठिकाना बदल रहा था. इस दौरान उसके परिजनों से पूछताछ की गई. इस दौरान उसकी कॉल डिटेल से पता चला कि आरोपी मुंबई के वर्ली में छिपा हुआ है. इसके बाद जब पुलिस वर्ली पहुंची तो शाहनवाज वहां से भागकर रायगढ़ के अलीबाग चला गया और एक लॉज में छिप गया. फिर पुलिस वहां पहुंची और रात भर चेकिंग की. इसके बाद उसे हिरासत में ले लिया गया. पूछताछ में उसने बताया कि दोनों की एक-दूसरे को साल 2021 में फोर्टनाइट गेमिंग ऐप के जरिए जान पहचान हुई थी. इसके बाद वे एक-दूसरे से बात करने के लिए डिस्कॉर्ड का इस्तेमाल करने लगे. फिर फोन पर भी बात करने लगा.
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'चैट में इस्लाम में शामिल होने के फायदे बताता था'
इसके बाद दोनों ने फोर्टनाइट पर गेम खेलना बंद कर दिया. लेकिन, 2021 के दिसंबर में वेलोरेंट गेम के जरिए दोनों ने फिर से गेम खेलना शुरू किया. डिस्कॉर्ड एप पर शाहनवाज की अच्छी रैंकिंग से आकर्षित होकर लड़के उससे चैटिंग किया करते थे. इस बीच शाहनवाज लड़कों को बरगलाया करता था और चैट में ही इस्लाम में शामिल होने के फायदे बता देता था.
आपको बता दें कि बच्चों को समझा-बुझाकर धर्म परिवर्तन का यह पूरा खेल दो चरणों में अंजाम दिया गया था. पहला कदम है बच्चों के साथ ऑनलाइन गेम खेलना और दूसरे चरण में बच्चों के साथ एक ऐप के जरिए चैट करना और उन्हें इस्लाम के फायदे बताना. पहले चरण में हैंडलर हिंदू नामों से आईडी बनाते थे. तब हिंदू बच्चों को 'फोर्टनाइट' गेम खेलने के लिए उकसाते थे. असली खेल तो तब शुरू हुआ जब बच्चा हार गया. खेल हारने के बाद, बच्चे को बताया गया कि यदि वह कुरान की एक आयत पढ़ेगा तो वह जीत जाएगा. इसके बाद जब बालक ने श्लोक पढ़कर खेल खेला तो उसे एक षड़यंत्र के तहत जिता दिया गया. इस तरह बच्चे का रुझान मुस्लिम धर्म की तरफ बढ़ गया होगा. इसके बाद दूसरा चरण शुरू होगा। 'डिस्कॉर्ड' एप के जरिए बच्चे से चैटिंग की जाती थी। बच्चे का भरोसा जीतने के बाद उसे इस्लाम के बारे में जानकारी दी गई.
धीरे-धीरे बच्चे को जाकिर नाइक और तारिक जमील के वीडियो दिखाए गए. उन्हें इस्लाम कबूल करने के लिए बहकाया गया. जब बच्चे का इस्लाम के प्रति झुकाव बढ़ा और वह मुसलमान बनने को तैयार हो गया तो आखिर में उससे एक हलफनामा बनवाया गया. इस हलफनामे में बच्चे से लिखवाया जाता है कि वह अपनी मर्जी से इस्लाम कबूल कर रहा है.
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