New York woman found alive: मौत के तीन घंटे बाद महिला कब्र में लेटते ही सांस लेने लगी, मच गया हड़कंप
अमेरिका के न्यूयॉर्क में एक अजीबो गरीब मामला सामने आया। यहां एक 82 साल की महिला को अस्पताल ने मृत घोषित कर दिया। लेकिन जब उसे अंतिम संस्कार के लिए ले जाया गया तो वहां कब्र में लिटाते समय पाया गया कि महिला सांस ले रही है। इस खुलासे से वहां हड़कंप
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सात समंदर पार अमेरिका से एक ऐसी हैरान करने वाली खबर सामने आई जिसे सुनने और पढ़ने के बाद आप भी बुरी तरह से चौंक जाएंगे,,,और शायद सोच में भी पड़ जाएं कि क्या ऐसा भी हो सकता है?
अमेरिका में हडसन नदी के किनारे बसा दुनिया के सबसे अमीर शहरों में से एक न्यू यॉर्क में एक ऐसी घटना घटी जिसने अमेरिकी समाज को भी बुरी तरह से झकझोर दिया। क़िस्से कहानियों और फिल्मों के पर्दे से हटकर ये कहानी एकदम सच्ची है। दरअसल हुआ ये कि यहां एक महिला अंतिम संस्कार से ऐन पहले ज़िंदा हो गई। असल में न्यूयॉर्क के एक अस्पताल ने तीन घंटे पहले ही एक महिला के मरने का ऐलान किया था। 82 साल की उस महिला को जब उसके घरवाले अंतिम संस्कार करने के लिए कब्रिस्तान ले गए तो कब्र में दफ्न करने से ऐन पहले ही वो महिला ज़िंदा हो गई।
इस मंजर को देखकर वहां मौजूद तमाम लोगों के पसीने आ गए और चारो तरफ हड़कंप सा मच गया। सफोक काउंटी पुलिस की तरफ से जारी किए गए एक बयान में कहा गया है कि न्यू यॉर्क के लॉन्ग आइलैंड के पोर्ट जेफरसन में शनिवार की सुबह करीब 11.15 बजे नर्सिंग होम ने एक महिला को मृत घोषित किया गया था। हालांकि काउंटी की तरफ से बयान में महिला की पहचान उजागर नहीं की गई है। काउंटी के अधिकारियों के मुताबिक दोपहर 1.30 बजे के आस पास महिला के शव को अंतिम संस्कार के लिए ले जाया गया। लेकिन दोपहर 2.09 बजे इस बात से अंतिम संस्कार स्थल पर इस बात पर हड़कंप मच गया जब ये बात खुली की महिला की सांसें चल रही हैं।
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काउंटी की तरफ से जारी बयान में ये भी बताया गया है कि इस मामले को आगे की जांच के लिए सरकारी अटॉर्नी जनरल के दफ्तर भेज दिया गया है। ये दूसरा मौका है जब इस तरह की खबर ने अमेरिकी मीडिया में जमकर सुर्खियां बटोरी।
ऐसा ही एक क़िस्सा जनवरी में भी सामने आया था। तब एक 66 साल की महिला को आयोबा के एक अस्पताल में मृत घोषित किया गया था। लेकिन जब उसके परिजन उसे अंतिम संस्कार ले लिए ले गए तो शवदाह गृह में बैग के भीतर उसे हांफते हुए देखा गया। न्यू यॉर्क टाइम्स में छपी रिपोर्ट के मुताबिक आयोबा के अर्बडालेमेंग्लेन ओक्स अल्जाइमर्स स्पेशल केयर सेंटर में 3 जनवरी को महिला को मृत घोषित किया गया था।
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डॉक्टर की तरफ से सर्टिफिकेट जारी करने के बाद महिला के शव को बॉडी बैग में रखा गया और फिर उसे एके ए केनी फ्यूनरल होम एंड क्रीमैटरी ले जाया गया। फ्यूनरल होम के कर्मचारियों ने अंतिम क्रिया के लिए जैसे ही बॉडी बैग खोला तो वहां महिला जीवित मिली और वो हांफ रही थी।
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आयोवा डिपार्टमेंट ऑफ इंस्पेक्शन एंड ए अपील्स की तरफ से प्रकाशित की गई रिपोर्ट के मुताबिक महिला को फिर अस्पताल पहुँचाया गया और इलाज के भर्ती कराया गया जहां उसकी 5 जनवरी को सचमुच मौत हो गई। रिपोर्ट में इस बात का भी जिक्र है कि अस्पताल की लापरवाही के लिए उन पर 10 हजार डॉलर का जुर्माना भी लगाया गया था।
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