करणी सेना क्या है? आखिर ये नाम क्यों सुर्खियों में छाया रहा
What is Karni Sena: आखिर ये करणी सेना क्या है, ये सेना क्या काम करती है और आखिर इस नाम को लेकर इतना बवाल क्यों?
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What is Karni Sena: मंगलवार की दोपहर से टीवी के पर्दे पर और खबरों की सुर्खियों में जो एक नाम बार बार सामने आ रहा है वो है करणी सेना। पांच राज्यों के चुनाव से बने माहौल में जिस समय तमाम लोग सियासी उठापटक के नजारे के इंतजार में टीवी की स्क्रीन पर नज़र गड़ाए बैठे हुए थे तभी अचानक टीवी के पर्दे पर एक सीसीटीवी की फुटेज चलने लगती है और ग्राफिक्स प्लेट के जरिए पता चलता है कि राजस्थान के जयपुर में राष्ट्रीय करणी सेना के अध्यक्ष सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की गोली मारकर हत्या कर दी गई। और इस घटना के बाद से ही लगातार टीवी के पर्दे पर करणी सेना का नाम बार बार सुनाई दे रहा है।
सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की हत्या ने खींचा ध्यान
यानी चुनाव के माहौल में भी जिस खबर ने सभी का ध्यान अपनी तरफ खींचा वो करणी सेना के सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की हत्या की इस खबर ने। और इसी के साथ ये सवाल भी लोगों के जेहन में बार बार दस्तक दे रहा है कि आखिर ये करणी सेना क्या है, ये सेना क्या काम करती है और आखिर इस नाम को लेकर इतना बवाल क्यों?
करणी सेना का नाम सुर्खियों पर
असल में कुछ अरसा पहले भी एक फिल्म पद्मावत को लेकर भी इस करणी सेना का नाम सुर्खियों पर छा गया था। क्योंकि पद्मावत फिल्म बनाने वाले संजय लीला भंसाली को लेकर करणी सेना के बयान और विवाद ने लोगों को ये समझने को मजबूर कर दिया था कि आखिर ये करणी सेना क्या है?
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लोकेंद्र सिंह कालवी ने की स्थापना
साल 2006 में लोकेंद्र सिंह कालवी ने करणी सेना की स्थापना की थी। असल में ये नाम करणी माता के नाम पर रखा गया है। करणी माता को उनके अनुयायी हिंगलाज का अवतार मानते हैं। कहा जाता है कि राजस्थान में करणी सेना असल में राजपूत समाज का संगठन है और इसका राजनीति से कोई लेना देना नहीं। हालांकि बीते अरसों के दौरान ये भी देखा गया है कि कई सियासी मंचों पर भी करणी सेना से जुड़े लोगों की मौजूदगी भी रही है। राजस्थान के राजपूत समाज में इस संगठन का अच्छा खासा असर देखने को मिलता है। और इस संगठन का दावा भी यही है कि वो संस्कृति की रक्षा के लिए ही काम करती है। इसी साल मार्च 2023 में इस संगठन को बनाने वाले लोकेंद्र सिंह कालवी का निधन हो गया था।
2018 में पद्मावत फिल्म के समय करणी सेना का नाम छाया
मगर करणी सेना का नाम उस वक्त ज्याद सुर्खियों में रहा जब साल 2018 में दीपिका पादुकोण, रणवीर सिंह और शाहिद कपूर की फिल्म पद्मावत आई और राजस्थान में इसका विरोध शुरू हुआ। करणी सेना ने इस फिल्म का जबरदस्त विरोध किया और यहां तक कि फिल्म पर बैन तक लगाने की मांग कर डाली थी।
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आनंदपाल सिंह के एनकाउंटर से रिश्ता
इसके अलावा इस करणी सेना का नाम उस वक्त भी सुर्खियों में उछला था जब राजस्थान के मशहूर गैंग्स्टर आनंदपाल सिंह की पुलिस मुठभेड़ में मारे जाने की खबर सामने आई थी। इस करणी सेना ने उस वक्त इस मुठभेड़ का विरोध किया था। विरोध करने की वजह ये थी कि करणी सेना का दावा था कि जब आनंदपाल सिंह खुद को सरेंडर कर रहा था तो पुलिस ने उसे गोली क्यों मारी। करणी सेना का विरोध इसी बात पर था कि आनंदपाल सिंह को फर्जी एनकाउंटर में मारा गया।
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दोनों सेना एक हो गईं
अब बात आती है कि सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की। गोगामेड़ी लंबे समय तक करणी सेना का हिस्सा रहे। लेकिन संगठन की अंदरूनी उठापटक और कलह की वजह से सुखदेव सिंह ने अपना एक अलग संगठन बनाया जिसका नाम रखा था राजपूत करणी सेना। और इस संगठन के खुद ही अध्यक्ष बन गए थे। मगर साल 2021 में करणी सेना दोनों धड़े एक हो गए थे और श्रीराजपूत करणी सेना का विलय श्री राष्ट्रीय करणी सेना में कर दिया गया था।
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