UP Agra Kidnapping Inside Story : पेशाब के बहाने उतरे ड्राइवर ने दोस्त के साथ किया अपहरण, आगरा अपहरण कांड की Inside Story

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UP Agra Kidnapping Inside Story : पेशाब के बहाने उतरे ड्राइवर ने दोस्त के साथ किया अपहरण, आगरा अपहर...
Agra Police Rescued Builder's Son
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Agra Police Rescued Builder's Son : आगरा पुलिस ने हरियाणा के फरीदाबाद की सैनिक कॉलोनी से अगवा किये गये एक बिल्डर के बेटे को मुक्त करा लिया और इस मामले में दो लोगों को गिरफ्तार किया है। अपर पुलिस अधीक्षक ग्रामीण (पश्चिम) सोनम कुमार ने बताया कि चालक आकाश और उसके साथी आशीष यादव को गिरफ्तार कर लिया है। आरोपियों से पूछताछ की जा रही है।

उन्होंने बिल्डर आशीष अग्रवाल की शिकायत के हवाले से बताया कि उनका बेटा ईशांत अपनी कार से चालक आकाश यादव के साथ उनकी बेटी के नोएडा स्थित घर जाने के लिए निकला था। उन्होंने बताया कि रास्ते में आकाश का साथी आशीष भी मिल गया और उन्होंने ईशांत को अगवा कर कार की डिक्की में बंद कर दिया। दरअसल, दोनों की पहले से ही प्लानिंग थी। ड्राइवर पेशाब के बहाने उतारा और उसी वक्त आशीष कार के अंदर घुस गया। दोनों को डर ये भी था कि कहीं पुलिस उन्हें पकड़ न ले, लिहाजा दोनों ने ईशांत के हाथ-पैर बांधे और उसे डिक्की में बंद कर दिया। 

उन्होंने बताया कि आकाश कार को यमुना एक्सप्रेसवे की तरफ ले गया। सोनम कुमार ने बताया कि बिल्डर के पास यमुना एक्सप्रेसवे के जेवर से टोल कटने का मैसेज आया तो उन्हें संदेह हुआ। कुछ देर बाद ही मथुरा से भी टोल कटने का मैसेज आया। इसके बाद फिरौती के लिए मैसेज आया। 

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इससे पहले उसके पिता ने अपने बेटे और ड्राइवर को फोन मिलाया, लेकिन दोनों नंबर बंद थे। आशीष ने तुरंत यूपी पुलिस को सूचना दी। 

आगरा पुलिस को इसकी जानकारी मिली। आगरा पुलिस ने केस की गंभीरता को समझते हुए तुरंत एक्शन लिया। 

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आगरा पुलिस ने खंदौली टोल प्लाजा पर जांच की और उस कार को घेर लिया जिसका नंबर बिल्डर ने बताया था। उन्होंने बताया कि जांच में ईशांत को कार की डिक्की से बरामद कर लिया गया। दोनों आरोपियों को अरेस्ट कर लिया गया है। 

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कौन है आशीष ? 

आशीष फर्नीचर कारोबारी और इवेंट कंपनी के मालिक है। उनका बेटा ईशांत पुणे से बीबीए की पढ़ाई कर रहा था और दशहरे की छुट्टियों मनाने घर आया था। अपनी दो चचेरी बहनों से टीका कराने के लिए वो दोपहर करीब 11 बजे फरीदाबाद से निकला। ईशांत की बहनें नोएडा और गाजियाबाद में रहती हैं। वो ड्राइवर के साथ निकल पड़ा। ईशांत को सबसे पहले नोएडा के सेक्टर 44 पहुँचना था। ईशांत के जीजा पारस गुप्ता सर्राफा कारोबारी हैं। 

 

 

 

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