UP Crime: इत्र की नगरी में यहां से लाई जा रही थी चंदन की लकड़ी, पकड़े गए चार स्मगलर

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UP Crime: इत्र की नगरी में यहां से लाई जा रही थी चंदन की लकड़ी, पकड़े गए चार स्मगलर
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UP Crime: चंदन की लकड़ी (Sandalwood) की तस्करी (Smuggling) का जिक्र आते ही जेहन में जो नाम सबसे पहले उभरता है वो है वीरप्पन (Veerappan) का। तमिलना़डु के जंगलों (Tamilnadu Forest) का वो शातिर तस्कर न जाने कितने संगीन मामलों की वजह से सुर्खियों में सालों साल तक बना रहा।

बीते कुछ अरसे में जब भी चंदन की लकड़ी का जिक्र आता है तो दक्षिण भारतीय भाषा में बनी फिल्म पुष्पा (Pushpa) का जिक्र होने लगता है। उस फिल्म का कथानक भी चंदन की लकड़ी की तस्करी के इर्द गिर्द की बुना गया था। लेकिन इस बार चंदन की लकड़ी की तस्करी का किस्सा सामने आया है उत्तर प्रदेश के कन्नौज (Kannauj) इलाक़े । ये इलाका अपने इत्र के कारोबार के लिए पूरी दुनिया में मशहूर है।

कन्नौज जिले की सदर कोतवाली पुलिस ने करीब 20 लाख रुपये कीमत की चंदन की लकड़ी बरामद करने का दावा किया है। पुलिस का दावा है कि चंदन तस्करी करने वाले एक अंतरराज्यीय गिरोह के चार तस्करों को गिरफ्तार भी किया।

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Smuggling Sandalwood: यूपी पुलिस में कन्नौज के एसपी अनुपम सिंह ने बताया कि सदर कोतवाली पुलिस को मुखबिर से सूचना मिली थी कि चंदन की लकड़ी मध्य प्रदेश से चोरी करके उसकी तस्करी की जा रही है।

इस सूचना पर पुलिस टीम ने छापा मारकर एक बोलेरो को पकड़ा जिससे 12 बोरी में रखी चंदन की लकड़ी बरामद की गई। चंदन की लकड़ी का वजन 3.91 क्विंटल है। सिंह ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय बाजार में लकड़ी की कीमत करीब 20 लाख रुपये आंकी गई है।

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उन्होंने बताया कि पुलिस ने चंदन की लकड़ी बरामद करने के साथ चार तस्करों को गिरफ्तार किया जिनकी पहचान आसिफ, रवि, साकिब व राकेश कुमार पाल के तौर पर हुई। एसपी ने बताया कि पुलिस ने भारतीय वन अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया है और तस्करी में शामिल अन्य लोगों का पता लगाया जा रहा है।

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