क्या सुमित सच बोल रहा है ? सुमित वही, शख्स हैं जो घटना के दौरान जीप से भागा था।
चश्मदीद सुमित जायसवाल ने बयां की आपबीती, अगर रुकता तो मारा जाता, हरिओम चला रहा था थार और शुभम मिश्रा भी बैठे हुए थे, Get latest updates of crime news in Hindi, videos and photos on Crime Tak.
ADVERTISEMENT
समर्थ श्रीवास्तव की रिपोर्ट
देश को हिला देने वाले लखीमपुर खीरी कांड का आखिर सच क्या है? 3 अक्टूबर को लखीमपुरखीरी में क्या हुआ था? कैसे हुए था? किसका क्या रोल था? अब तक किसानों के कुचले जाने के कुछ कथित वीडियो सामने आए हैं। कुछ चश्मदीदों के दावे और आरोप-प्रत्यारोप की बातें भी सामने आई हैं। पूरी कहानी में कई टर्न और ट्विस्ट आ सकते हैं, लेकिन आजतक ने बात की इस घटना के चश्मदीद बीजेपी नेता सुमित जायसवाल से। सुमित वही, शख्स हैं जो घटना के दौरान जीप से भागा था। सुमित ने बताया कि मैं किसी तरह से जान बचाकर वहां से भागा। अगर रुकता या फंस जाता तो आज आपके सामने नहीं बैठा होता। साथ ही उनका आगे कहना है कि प्रदर्शनकारी किसान थे ही नहीं, यह सब साजिशन हुआ है।
लखीमपुर में तीन अक्टूबर को हुई हिंसा से जुड़ा एक वीडियो सुर्खियों में हैँ। वीडियो में थार जीप से निकलकर एक शख्स भागता नजर आ रहा है। जीप के पास एक शख्स जख्मी कराह रहा है। सड़क पर भी लोग दौड़ते भागते नजर आ रहे हैं। ये शख्स हैं लखीमपुर से बीजेपी सभासद सुमित जायसवाल। सुमित जायसवाल पूरी घटना के चश्मदीद हैँ। वो उस थार पर सवार थे जिससे किसानों को कुचले जाने का आरोप है। आजतक को सुमित ने बताया कि आखिरकार उस रोज हुआ क्या था?
ADVERTISEMENT
सुमित के मुताबिक, थार को हरिओम चला रहा था, शुभम साथ बैठा था
सुमित के मुताबिक थार को हरिओम चला रहा था और उस पर सुमित के मित्र शुभम मिश्रा भी बैठे हुए थे। उग्र भीड़ के हमले में दोनों मारे गए। सुमित खुशकिस्मत रहे कि भीड़ से बचकर किसी तरह भागने में कामयाब रहे। सुमित का दावा है कि भीड़ में शामिल लोग कहीं से स्थानीय नहीं लग रहे थे और उपद्रव के इरादे से ही आए थे। सुमित ने जानबूझकर सबक सिखाने के इरादे से लोगों को कुचलने के आरोप से भी इनकार किया।
ADVERTISEMENT
ADVERTISEMENT