इजराइल के 'IRON DOME' के सुरक्षा कवच को भेदने वाले हमास के ये हैं वो रॉकेट्स और मिसाइल
Why did Israel's Iron Dome fail? इजराइल के पास Iron Dome का सुरक्षा कवच हैं जिसे कोई भेद नहीं सकता। मगर हमास ने शनिवार को दुनिया के सामने इजराइल की पोल खोलकर रख दी।
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Israel - Hamas Conflicts: इजराइल और हमास के बीच ताबड़तोड़ हमले जारी हैं। हमास इजराइल की जमीन को एक बम से जख्मी करता है तो इजराइल जवाब में उसकी पूरी जमीन को ही थर्रा कर रख देता है। धुआंधार हमलों के बीच सवालों में आकर खड़ा हो गया है इजराइल का अत्याधुनिक सुरक्षा तंत्र। पूरी दुनिया में इजराइल की सुरक्षा प्रणाली की तूती बोलती है। माना यही जाता है कि इजराइल के पास जो सुरक्षा कवच मौजूद हैं उसे कोई नहीं भेद सकता। मगर हमास ने शनिवार को दुनिया के सामने इजराइल की पोल खोलकर रख दी। और रॉकेट के साथ साथ मिसाइलों के हमलों से इजराइल का पूरा सुरक्षा कवच छिन्न भिन्न कर दिया।
हमास के हमलों से हताहत इजराइल
शनिवार को जबसे इजराइल के आसमान पर शोर मचाते हमास के रॉकेटों ने थर्राया है, बस तभी से पूरी दुनिया में इस बात की बहस शुरू हो गई कि आखिर हमास के पास ऐसे कौन कौन से हथियार हैं जिनकी बदौलत दुनिया की सबसे मजबूत कही जाने वाली सुरक्षा प्रणाली को पूरी तरह से भेद करके रख दिया। यहां तक कि इजराइल के सबसे मशहूर आइरन डोम भी हमास के रॉकेटों को उसकी जमीन पर गिरकर फटने से नहीं रोक सका।
इजराइल का सबसे ताकतवर एयर डिफेंस सिस्टम- Iron Dome
ये इजराइल का सबसे ताकतवर एयर डिफेंस सिस्टम है। बताया जाता है कि ये ऐसा सिस्टम है जो इजराइल के आसमान में दुश्मन के रॉकेट्स और मिसाइल के नज़र में आते ही एक्टिव हो जाता है और हवा में ही मार गिराता है। मगर शनिवार को दुनिया का ये भ्रम उस वक़्त टूट गया जब महज 20 मिनट के भीतर ही हमास ने पांच हजार रॉकेट दागकर पूरे इजराइल और उसके रुआब की धज्जियां उड़ाकर रख दी। क्योंकि हमास के रॉकेट्स को इजराइल का ये ताकतवर सिस्टम नहीं रोक सका और देखते ही देखते इजराइल की जमीन पर तबाही और बर्बादी आसमान से आकर गिरी और 700 से ज़्यादा इजराइलियों को हमेशा हमेशा के लिए मौत की नींद में सुला दिया।
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मिसाइल सिस्टम है आयरन डोम
असल में कहा जाता है कि आयरन डोम एक तरह का मिसाइल सिस्टम है। इसमें जमीन से हवा में मार करने वाली मिसाइलें लगी होती है। और जैसे ही दुश्मन की मिसाइल या रॉकेट्स या फिर ड्रोन इजराइल के आसमान पर नज़र आता है, ये सिस्टम फौरन एक्टिव हो जाता है मिसाइलें दागने लगता है। इस सिस्टम को पूरे इजराइल में लगाया गया है जिसकी रेंज के बारे में दावा है कि ये 70 किलोमीटर तक मार करने में सक्षम है। लेकिन इस सिस्टम की मौजूदगी के बावजूद हमास के रॉकेट्स और फिदाइन ड्रोन ने इजराइल में 48 घंटे तक तबाही मचाई।
हमास के रॉकेट इजराइल के सिस्टम पर भारी
जाहिर है ये सवाल जरूर उठता है कि हमास के रॉकेट इजराइल के सिस्टम पर भारी कैसे पड़ गए। उसके पास वो कौन कौन से हथियार या रॉकेट्स हैं जिन्होंने इजराइल जैसे देश को भी दहला दिया। तो एक नज़र हमास के पास मौजूद उन हथियारों का अंदाजा ले लेते हैं जिनके दम पर हमास इस जंग में अपनी जीत का सपना लेकर कूद पड़ा है।
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हमास के पास 114 मिलिमीटर के शॉर्ट रेंज रॉकेट्स हैं
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कम दूरी वाले रॉकेट्स
- 15 किमी रेंज वाले 1000 सेल्फ प्रोपेल्ड रॉकेट सिस्टम
- 20 किमी रेंज वाले 2500 स्मगलिंग करके मंगाए गए रॉकेट्स
-20 किमी रेंज वाले 200 खुद से बनाए ग्रैंड रॉकेट्स, जबकि इतने ही स्मगलिंग करके हासिल किए गए।
ये तो थे कम दूरी वाले रॉकेट्स जो हमास के पास मौजूद हैं।
मध्यम दूरी वाले रॉकेट्स –
-45 किमी रेंज वाले सेल्फ प्रोपेल्ड 200 आधुनिक ग्रैंड रॉकेट्स, और इसी रेंज के 1000 स्मगलिंग करके मंगाए ऐसे ही रॉकेट्स
-80 किमी रेंज वाले 400 खुद से तैयार किए गए रॉकेट्स
हैरानी की बात ये है कि इनमें से भी कई तरह के हैं जिनकी मारक क्षमता अलग अलग है।
लंबी दूरी के रॉकेट्स
100 से 200 किमी के दर्जनों लॉन्ग रेंज रॉकेट्स
QASSAM रॉकेट्स
बताया जा रहा है कि हमास के पास जिस तरह के रॉकेट्स हैं उससे पूरे इजराइल को खतरा है। उनमें से सबसे खतरनाक हैं R160 रॉकेट्स जिसकी रेंज करीब 160 किलोमीटर तक है। ऐसे में ये रॉकेट पूरे इजराइल में कहीं भी हमला कर सकते हैं। इसके अलावा M-75 जैसे रॉकेट्स भी हमास के पास हैं जिनकी रेंज 75 किलोमीटर तक है और जो 60 किलोग्राम हथियार लेकर जा सकते हैं। इतना ही नहीं हमास के पास ग्रैंड रॉकेट्स हैं जो 45 किलोग्राम हथियार लेकर 48 किमी तक जा सकते हैं। सबसे छोटे यानी कम दूरी तक मार करने वाले QASSAM रॉकेट्स भी हैं जो 17.7 किमी तक हथियार लेकर जा सकते हैं। ये 9 किग्रा हथियार भीले जाने में सक्षम हैं।
हथियार विकसित करने में लगा
पिछले काफी समय से इजराइल से मोर्चा लेने के लिए हमास लगातार हथियार विकसित करने में लगा हुआ है। उसके पास GPS गाइडेड ड्रोन्स और मिसाइलें हैं। सबसे हैरानी और चौंकाने वाली बात ये हैकि हमास ने इन हथियारों को विकसित करने के लिए रिसर्च में बहुत पैसा लगाया है। बताया तो यहां तक जा रहा है कि हमास रोबोटिक गाड़ियां तक बना रहा है। और खुद को साइबर युद्ध के लिए भी तैयार कर रहा है। इसके अलावा उसने मानवरहित पनडुब्बियों को करीब करीब विकसित भी कर लिया है। इतना ही नहीं हमास ने समंदर के किनारे नौसेना ने सुरंगें तैयार कर ली हैं। कहा जा रहा है कि इन सभी का इस्तेमाल वो छुपने और हथियारों को अंदर लाने और ले जाने के लिए करती है।
40 टन से ज़्यादा अमोनियम क्लोराइड
खुलासा ये हुआ है कि हमास इन ड्रोन्स को खिलौनों के साथ मंगवाता है ताकि किसी को भी शक न हो। और इन ड्रोन के जरिए ही वो इलाके की रेकी करता है और फिर हमले की तैयारी करता है। ये बात साफ हो चुकी है कि हमास के पास 40 टन से ज़्यादा अमोनियम क्लोराइड का काफी बड़ा भंडार है। इस अमोनियम क्लोराइड का इस्तेमाल विस्फोटकों को तैयार करने के लिएकिया जाता है।
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