किडनी की खरीद फरोख्त घोटाला, इंद्रप्रस्थ अपोलो अस्पताल के खिलाफ जांच के आदेश

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किडनी की खरीद फरोख्त घोटाला, इंद्रप्रस्थ अपोलो अस्पताल के खिलाफ जांच के आदेश
जांच जारी
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Delhi News: केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के तहत आने वाले राष्ट्रीय अंग और ऊतक प्रत्यारोपण संगठन (एनओटीटीओ) ने इंद्रप्रस्थ अपोलो अस्पताल के खिलाफ ‘गुर्दे के बदले नकदी’ घोटाले के आरोपों की जांच के आदेश दिए हैं। आधिकारिक सूत्रों ने मंगलवार को यह जानकारी दी। एनओटीटीओ के निदेशक डॉ. अनिल कुमार ने दिल्ली सरकार के प्रधान सचिव (स्वास्थ्य) को पत्र लिखकर मामले की जांच कराने, मानव अंग और ऊतक प्रत्यारोपण अधिनियम (टीएचओटीए)1994 के प्रावधानों के अनुसार उचित कार्रवाई करने और एक सप्ताह के भीतर कार्रवाई रिपोर्ट प्रस्तुत करने के लिए कहा है।

‘गुर्दे के बदले नकदी’ घोटाले के आरोपों की जांच

डॉ. कुमार ने एक समाचार संस्था की खबर का हवाला दिया है जिसमें दिल्ली के अपोलो अस्पताल और डॉ. संदीप गुलेरिया पर कथित रूप से गुर्दा गिरोह में शामिल होने का आरोप लगाया गया है। आरोप है कि यह गिरोह म्यांमा के गरीब लोगों को धन के बदले में अंग बेचने का लालच देकर उन्हें फंसा रहा है। पत्र में लिखा गया, ‘‘यह खबर इस बात पर प्रकाश डालती है कि ऐसी गतिविधियां गरीब वर्ग के लोगों के स्वास्थ्य और कल्याण के लिए गंभीर खतरा पैदा कर सकती हैं। मानव अंग और ऊतक प्रत्यारोपण अधिनियम (टीएचओटीए) 1994 अध्याय चार, धारा 13 (तीन) (चार) के अनुसार, दिल्ली सरकार के सचिव (स्वास्थ्य) मामले की पड़ताल करने और जांच करने के लिए उपयुक्त प्राधिकारी हैं।’’

आईएमसीएल की सफाई

पत्र में यह भी लिखा गया है , ‘‘आपसे अनुरोध किया जाता है कि इस संबंध में मामले की जांच कराएं, टीएचओटीए-1994 के प्रावधान के अनुसार उचित कार्रवाई करें और एक सप्ताह के भीतर कार्रवाई रिपोर्ट प्रस्तुत करें।’’ इंद्रप्रस्थ मेडिकल कॉर्पोरेशन लिमिटेड (आईएमसीएल) ने सोमवार को ‘‘गुर्दे के बदले नकद’’ गिरोह में शामिल होने के आरोप का खंडन करते हुए कहा था कि वह प्रत्यारोपण के लिए सरकारी दिशानिर्देशों सहित हर कानूनी और नैतिक जरूरत का पालन करता है। कंपनी के एक प्रवक्ता ने कहा, ‘‘आईएमसीएल प्रत्यारोपण प्रक्रियाओं के लिए हर कानूनी और नैतिक आवश्यकता का अनुपालन करती है जिसमें सरकार द्वारा निर्धारित सभी दिशानिर्देशों के साथ-साथ हमारी अपनी व्यापक आंतरिक प्रक्रियाएं भी शामिल हैं।’’

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गरीबों को अंग बेचने का लालच

प्रवक्ता ने एक अंतरराष्ट्रीय मीडिया रिपोर्ट के बारे में पूछे गए सवाल का जवाब दिया जिसमें आरोप लगाया गया है कि अस्पताल ‘गुर्दे के बदले नकद’ गिरोह में शामिल है और म्यांमा के गरीब लोगों को धनराशि के लिए अपने अंग बेचने का लालच दिया जा रहा है। गुर्दा प्रत्यारोपण पर अस्पताल की प्रक्रिया के बारे में प्रवक्ता ने कहा कि आईएमसीएल को प्रत्येक दानदाता से अपने देश में उचित मंत्रालय के दस्तखत वाला फॉर्म 21 उपलब्ध कराने की आवश्यकता होती है। उन्होंने कहा, ‘‘यह फॉर्म विदेशी सरकार से एक सत्यापन होता है कि दानदाता और प्राप्तकर्ता वास्तव में संबंधित हैं।’’ 

एनओटीटीओ ने दिए जांच के आदेश

उन्होंने कहा कि आईएमसीएल में सरकार द्वारा नियुक्त प्रत्यारोपण प्राधिकार समिति प्रत्येक मामले में दस्तावेजों की समीक्षा करती है और दानकर्ता तथा प्राप्तकर्ता से बातचीत करती है। प्रवक्ता के अनुसार, आईएमसीएल देश के संबंधित दूतावास से दस्तावेजों को पुन: सत्यापित करती है। मरीजों और दानदाताओं की कई बार चिकित्सा जांच की जाती है। उन्होंने कहा, ‘‘इनके साथ ही कई अन्य कदमों की किसी प्रत्यारोपण प्रक्रिया के अनुपालन के लिए आवश्यकता होती है। आईएमसीएल नैतिकता के उच्चतम मानकों और सभी के लिए सर्वोत्तम स्वास्थ्य देखभाल प्रदान करने के अपने मिशन को पूरा करने के लिए प्रतिबद्ध है।’’ दिल्ली में स्थित इंद्रप्रस्थ अपोलो हॉस्पिटल्स में 710 से अधिक बिस्तर उपलब्ध हैं।

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(PTI)

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