न्यायालय ने पटाखों पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने संबंधी आदेश में हस्तक्षेप करने से इनकार किया

ADVERTISEMENT

न्यायालय ने पटाखों पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने संबंधी आदेश में हस्तक्षेप करने से इनकार किया
Fire Crackers
social share
google news

Supreme Court on illegal Crackers: सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली में पटाखों पर प्रतिबंध लगाने संबंधी सरकार के आदेश में हस्तक्षेप करने से इनकार कर दिया। दिवाली के मौके पर हालांकि कुछ लोगों द्वारा पटाखे फोड़े जाते हैं। इस संबंध में पुलिस एक्शन भी लेती है, लेकिन सच्चाई ये है कि फिर भी कई लोग पटाखे जलाते हैं।

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सांसद मनोज तिवारी ने न्यायमूर्ति ए. एस. बोपन्ना और न्यायमूर्ति एम. एम. सुंदरेश की पीठ को बताया कि अदालत द्वारा हरित पटाखे फोड़े जाने की अनुमति देने के बावजूद पटाखों पर पूर्ण प्रतिबंध लगाया गया है।

पीठ ने तिवारी के अधिवक्ता से कहा, ‘‘नहीं, हम हस्तक्षेप नहीं करेंगे। सरकार ने जहां पटाखों पर प्रतिबंध लगाया है, इसका मतलब पूर्ण प्रतिबंध है। लोगों का स्वास्थ्य महत्वपूर्ण है। यदि आपको पटाखे जलाने हैं तो उन राज्यों में जाएं जहां कोई प्रतिबंध नहीं है।’’

ADVERTISEMENT

वकील ने कहा कि सांसद होने के नाते उनका मुवक्किल अपने मतदाताओं के प्रति जिम्मेदार है और अदालत ने स्वयं ही हरित पटाखे फोड़ने की अनुमति दी है।

पीठ ने उत्तर पूर्वी दिल्ली लोकसभा क्षेत्र से सांसद तिवारी से कहा, ‘‘आप लोगों को समझाएं कि वे पटाखे न जलाएं। यहां तक कि चुनाव के बाद विजय जुलूस के दौरान भी पटाखे नहीं फोड़ने चाहिए। जीत का जश्न मनाने के और भी कई तरीके हैं।’’

ADVERTISEMENT

दिल्ली सरकार ने सर्दियों में प्रदूषण के स्तर को कम करने की कार्ययोजना के तहत राष्ट्रीय राजधानी में सभी प्रकार के पटाखों के निर्माण, बिक्री, भंडारण और इस्तेमाल पर फिर से प्रतिबंध लगाने का फैसला किया है। दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने 11 सितंबर को इस फैसले की घोषणा की थी।

ADVERTISEMENT

पिछले दो वर्षों के दौरान इसी तरह का पूर्ण प्रतिबंध लगाया गया था। दिवाली के मौके पर हालांकि कुछ लोगों द्वारा पटाखे फोड़े जाते हैं। इस संबंध में पुलिस एक्शन भी लेती है, लेकिन सच्चाई ये है कि फिर भी कई लोग पटाखे जलाते हैं। 

    follow on google news
    follow on whatsapp

    ADVERTISEMENT

    ऐप खोलें ➜