'श्रीलंका-बांग्लादेश के बाद भारत का नंबर', बरेली के हसीब-अफसार ने भड़काया, पुलिस ने की कार्रवाई, एक को लपेटा
UP News: बरेली में कुछ लोगों ने सोशल मीडिया पर भड़काऊ और विवादित पोस्ट डालकर माहौल बिगाड़ने की कोशिश की है. फिलहाल, इन आरोपियों को जेल भेज दिया गया है, और सोशल मीडिया से उनके विवादित पोस्ट भी हटा दिए गए हैं.
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UP News: बांग्लादेश इस समय गंभीर हिंसा की चपेट में है, जिसके चलते वहां की प्रधानमंत्री शेख हसीना अपनी जान बचाकर भारत आ गई हैं. इस घटना से भारत की सुरक्षा पर भी खतरा मंडरा रहा है. इसी बीच, बरेली में कुछ लोगों ने सोशल मीडिया पर भड़काऊ और विवादित पोस्ट डालकर माहौल बिगाड़ने की कोशिश की है. पुलिस ने इन लोगों के खिलाफ सख्त कदम उठाते हुए उन्हें गिरफ्तार कर लिया है और उनके खिलाफ कार्रवाई की गई है. फिलहाल, इन आरोपियों को जेल भेज दिया गया है, और सोशल मीडिया से उनके विवादित पोस्ट भी हटा दिए गए हैं.
अब आपको इनके भड़काऊ पोस्ट के बारे में बताते हैं
बरेली के थाना नवाबगंज क्षेत्र के प्रभातनगर कस्बे के निवासी हसीब अंसारी ने सोशल मीडिया पर लिखा, "मुस्लिम एक हो गए तो पूरी फोर्स लगने के बाद भी हमें रोक नहीं सकोगे. शुक्र मनाओ कि मुसलमान फिरकों-फिरकों में बंटा पड़ा है." पुलिस ने इस युवक को गिरफ्तार कर लिया है और अब उसकी सोशल मीडिया प्रोफाइल की जांच की जा रही है.
‘श्रीलंका-बांग्लादेश के बाद अब भारत की बारी’
इसके अलावा, बरेली के सिरोली में अफसार नामक एक युवक ने भी विवादित पोस्ट डालकर माहौल खराब करने की कोशिश की. उसने लिखा, "श्रीलंका हो गया, बांग्लादेश हो गया, अब भारत की बारी है." अफसार एक क्लीनिक में काम करता था, जिसे अब सील कर दिया गया है. स्वास्थ्य अधिकारियों का कहना है कि क्लीनिक अवैध रूप से संचालित हो रहा था। इस मामले में केस दर्ज कर कार्रवाई जारी है.
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पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की पार्टी से जुड़े दो हिंदू नेताओं की मौत
बता दें कि बांग्लादेश में हाल ही में हिंसा भड़कने के बाद हिंदू मंदिरों, घरों और व्यवसायों को निशाना बनाया गया. इस हिंसा में बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की पार्टी से जुड़े दो हिंदू नेताओं की मौत हो गई. इसके चलते शेख हसीना को प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा देकर देश छोड़ना पड़ा. ढाका में भी हिंसा के दौरान बड़ी संख्या में हिंदू सड़कों पर उतरे और सुरक्षा की मांग की. उन्होंने अपनी संपत्ति के नुकसान का मुआवजा भी मांगा. अमेरिका में भी हिंदुओं ने इस मामले को लेकर प्रदर्शन किया.
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