तालिबानियों ने अफगानिस्तान को बना डाला 'नर्किस्तान'!

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तालिबानियों ने अफगानिस्तान को बना डाला 'नर्किस्तान'!
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अफगानिस्तान की पहाड़ी-पथरीली जमीन पर आज का आलम ये है कि फिजां में हर जगह सिर्फ और सिर्फ बारूद और बारूद की गंध है। हर तरफ फायरिंग का शोर है, और जिधर देखो तबाही का मंजर है। कुल मिलाकर अफगानिस्तान एक बार फिर 90 के दशक में पहुंच चुका है। अब वैसे ही भयावह हालात हैं, हर पल मौत की आहट है, खतरा लगातार बड़ा होता जा रहा है।

अफगानिस्तान में तालिबान के बढ़ते दबदबे से आम अफगानियों की समझ में नहीं आ रहा है कि वो जाएं तो जाएं कहां? अमेरिकी सैनिकों के अफगानिस्तान छोड़ने के बाद तालिबान लगातार हमले कर रहा है। क्रूरता की सारी हदें उसने तोड़ दी है। देश के कई हिस्सों के एक बार फिर तालिबान का कब्जा है। सबसे बड़ी मुश्किल ये है कि तालिबान के इस खूनी खेल में जान की कोई कीमत नहीं है। जो सामने आ रहा है उसे तालिबान कुचलते हुए आगे बढ़ रहा है।

तालिबान की भूख बढ़ती जा रही है, क्योंकि मकसद साफ है हर हाल में अफगानिस्तान पर तालिबान राज स्थापित करना। मुल्क में इस्लामी शरीया कानून स्थापित करना, ज़ाहिर है तो फिर अगर-मगर की गुंजाइश नहीं है, तालिबान इसी रणनीति के तहत आगे बढ़ रहा है। और इसके लिए तालिबानी आतंकी ने अफगान सुरक्षा बलों के साथ ही आम लोगों पर हमले तेज कर दिए हैं। और ये तालिबान बिल्कुल सोची समझी साजिश के तहत कर रहा है। तालिबान अपने खिलाफ हर वो आवाज और वो सोच को कुचल देना चाहता है जिसके रहने के कारण उसके लिए मुश्किलें खड़ीं हो सकती हैं।

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अफगानिस्तान सरकार के मीडिया और सूचना निदेशक दावा खान मेनपाल लगातार अफगान सरकार की बातों और स्टैंड को लेकर ट्वीट किया करते थे, दावा खान मेनपाल पाकिस्तानी छद्म युद्ध के खिलाफ भी लगातार बोल रहे थे। जिसके कारण दावा खान तालिबान की आंखों में खटक रहे थे, फिर क्या था जैसे मौका मिला तालिबान ने दावा खान मेनपाल की हत्या कर दी। दावा खान की हत्या के बाद तालिबान के प्रवक्ता जबीउल्लाह मुजाहिद ने कहा कि उसे उसके कार्यों के लिए दंडित किया गया।

इतना ही नहीं उर्जगान के चोरा शहर में आतंकियों ने जाने-माने शायर और इतिहासकार अब्दुल लतीफी की गोली मारकर हत्या कर दी। 22 जुलाई को भी तालिबान आतंकियों ने लोकप्रिय अफगान कार्टूनिस्ट कॉमेडियन नजर मोहम्मद को अगवा कर हत्या कर दी थी। वहीं तालिबान ने भारतीय पत्रकार दानिश की भी शिनाख्त के बाद हत्या कर दी थी।

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इतना ही नहीं तालिबान ने एक बच्ची को बुर्का न पहनने के लिए मौत का घाट उतार दिया, जाहिर है तालिबान अब रूकनेवाला नहीं है। थमनेवाला नहीं है, क्योंकि मकसद साफ है हर कीमत पर पूरे अफगानिस्तान पर कब्जा करना और अपने हिसाब से इस्लामिक राज स्थापित करना, और इसके लिए राह में जो कोई भी आए उसे खल्लास कर देना।

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