ओवैसी की कार पर हमला करने वाले सचिन का क़बूलनामा: 'मैंने इसलिए चलाई गोली'

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ओवैसी की कार पर हमला करने वाले सचिन का क़बूलनामा: 'मैंने इसलिए चलाई गोली'
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हमलावर का क़बूलनामा

UP ELECTION 2022 : AIMIM के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी की कार पर गोली चलाने वाले अब पकड़े जा चुके हैं। सचिन और शुभम उन हमलावरों के नाम है जिन्हें टीवी की स्क्रीन पर सभी ने बेधड़क गोली चलाते हुए देखा है। और इस घटना के सामने आने के बाद से ही जितने मुंह उतनी बातें हो रही है।

पाला बंदी हो रही है, और खुल कर बातों की पतंग उड़ाई जा रही है। लेकिन हापुड़ पुलिस ने ओवैसी की कार पर गोली चलाने वाले एक हमलावर सचिन का सच जब खुलासा किया तो जानकर किसी का भी चौंकना वाजिब है।

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हमले का मक़सद जानकर चौंक गई पुलिस

UP ELECTION 2022: हापुड़ पुलिस के नज़दीकी सूत्रों से पता चला है कि सचिन ने पुलिस के सामने जो कुछ भी बताया उससे ये बात तो साफ हो जाती है कि ये वारदात महज इत्तेफ़ाक नहीं है और न ही इसे जल्दी में अंजाम तक पहुँचाया गया।

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बल्कि बड़ी ही सोची समझी साज़िश के तहत इसके लिए लंबी प्लानिंग की गई थी। और फिर इस घटना को ये समझकर अंजाम देने में थोड़ी जल्दबाजी कर गए कि कहीं इसके बाद फिर मौका मिले या न मिले।

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लेकिन इस ओवैसी की कार पर गोली चलाने वाले सचिन की मन की बात जब पुलिस को पता चली तो वो भी बुरी तरह से चौंक गई। क्योंकि उसके पीछे सचिन की जो गरज थी वो बड़ी ही खतरनाक और दिलचस्प है।

हमले के पीछे ये वजह बताई सचिन ने

UP ELECTION 2022: सचिन ने बताया कि वो खुद बड़ा नेता बनना चाहता था इसलिए उसने ओवैसी को जान से मारने का इरादा किया था। सचिन का कहना है कि अगर वो ओवैसी को गोली मारने में कामयाब हो जाता तो उसके विरोधी दलों के नेता उसे हाथों हाथ ले लेते और तब उसका सियासत में आने का रास्ता साफ हो जाता।

इसीलिए उसने इस काम के लिए किसी बाहर वाले के बजाए अपने पुराने दोस्त पर ही भरोसा करना ज़्यादा जरूरी समझा और उसे तैयार भी कर लिया था। गोली चलाने की हड़बड़ी और ग़लत अंदाजे की वजह से वो दोनों हमलावर अपने अपने मक़सद में कामयाब तो नहीं हुए लेकिन उनका एक काम हो गया कि लोग उनका काम और नाम दोनों ही जान गए।

सचिन ने पुलिस के सामने ये भी कुबूल किया कि जब उन्होंने गोली चलाई तो उन्हें लगा कि गोली ओवैसी को लग गई और वो मर गए। तभी तो वो मौके से भागने की जल्दबाज़ी में लग गए।

गोली चलाने से पहले की थी लंबी प्लानिंग

UP ELECTION 2022: हापुड़ की पुलिस ने जब सचिन और शुभम से पूछा कि आखिर ये पूरी प्लानिंग क्या थी। अपनी पूरी प्लानिंग और इस पूरी साज़िश के पीछे असली दिमाग किसका है सके बारे में तो कुछ नहीं बताया अलबत्ता ये जरूर साफ कर दिया कि इन दोनों ने काफी दिनों से इस मौके की तलाश में थे।

सचिन का ही कबूलनामा है कि 28 जनवरी को जब असदुद्दीन ओवैसी ग़ाज़ियाबाद में रैली कर रहे थे, उस वक्त भी उन लोगों ने उन्हें गोली मारने की तैयारी कर ली थी। लेकिन वहां उन्हें मौका नहीं मिला। इसके बाद दोनों ओवैसी के पीछे पीछे मेरठ और किठौर तक भी गए। लेकिन रैली की भीड़ और ओवैसी के पास तक न पहुँच पाने की वजह से वो अपने इस मकसद में कामयाब नहीं हो सके।

AIMIM के उम्मीदवार से बनाई नज़दीकी

UP ELECTION 2022: जब अपनी तीन कोशिशों में कामयाब नहीं हो पाए तो उन्होंने हापुड़ से लौटते समय छिजारसी टोल के पास इस टार्गेट पर निशाना लगाने का इरादा कर लिया।

सचिन ने पुलिस के सामने ये भी कुबूल किया कि असदुद्दीन ओवैसी की चुनावी सभाओं और उनसे नज़दीकी बनाने के लिए इन दोनों ने बड़े ही शातिर तरीकें से असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी के उम्मीदवार के साथ भी नज़दीकी बना ली थी ताकि ओवैसी के नज़दीक आने के मौक मिल सके। मगर उनका ये भी दांव नहीं चल सका।

हमले की तीन कोशिश कर चुके थे हमलावर

UP ELECTION 2022: वो तस्वीर सभी ने देखी है कि 3 फरवरी यानी गुरुवार की शाम ओवैसी जब मेरठ और किठौर में रोड शो के बाद दिल्ली लौट रहे थे तब टोल प्लाजा के पास ओवैसी के कार पर दो बंदूकधारियों ने ताबड़तोड़ फायरिंग शुरू कर दी थी।

सचिन के क़बूलनामें में ये भी साफ साफ लिखा है कि ओवैसी ने उन्हें गोली चलाते हुए देख लिया था, लिहाजा वो सीट के नीचे छुप गए थे। लेकिन हमलावर ये समझे की शायद ओवैसी को गोली लग गई। इसीलिए उन लोगों ने फिर कार में ऊपर की वजाए नीचे की तरफ गोलियां चलाईं। उन्हें यही लगा कि ओवैसी मर गए इसीलिए वो नीचे गिर गए।

इस हमले का सीसीटीवी सामने आने के बाद ही सचिन और शुभम की पहचान मुमकिन हो सकी। हालांकि जिस वक्त हमलावर ओवैसी की कार पर गोली चला रहे थे, उसी समय एक हमलावर जो ओवैसी की कार के एकदम सामने था, वो कार से टकरा गया था और कार उसका पैर कुचलती हुई आगे बढ़ गई थी।

कौन है हमलावर सचिन

ओवैसी की कार पर हमला करने वाला आरोपी सचिन नोएडा के बादलपुर में रहा है। LLM यानी क़ानून की पढ़ाई कर चुके सचिन पर पहले भी 307 का मुकदमा दर्ज है जबकि इस वारदात में उसका साथ देने वाला उसका दोस्त शुभम सहारनपुर के सांपला बेगमपुर का रहने वाला बताया जा रहा है।

शुभम की बहन की शादी NCR में ही हुई थी जिसकी वजह से उसका नोएडा आना जाना लगा रहता था। पुलिस को मिली जानकारी के मुताबिक शुभम ज़्यादातर गाज़ियाबाद के मोदीपुरम में रहता था।

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