यूक्रेन को पटखनी देने के लिए रूस ने चली ये चाल, जंग का नक्शा बदलेंगे भाड़े के ये सैनिक
Russia Ukraine War: नौ महीने से चल रही जंग (War) को जीतने की गरज से रूस ने एक नया पैंतरा (strategy) लिया है और भाड़े के सैनिकों के तौर पर अफ़ग़ानी (Afghani) सैनिकों को जंग में उतराने का इरादा किया।
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Russia Ukraine War: रूस और यूक्रेन के बीच छिड़ी जंग को अब तक नौ महीने (Nine Month) से ज़्यादा का वक़्त बीत चुका है। बावजूद इसके ये लड़ाई (War) किसी नतीजे पर पहुँचती नहीं दिखाई देती। जिस लड़ाई के शुरू होते ही उसे खत्म बताया जाने लगा था, उस लड़ाई के 9 महीनें तक लगातार जारी रहने के बाद अब उसमें से नतीजा न निकलने की आशंका गहराने लगी है।
हालांकि इस लड़ाई को किसी अंजाम तक पहुँचाने के लिए रूस ने न जाने कितनी चालें चलीं। मगर यूक्रेन की हिम्मत नहीं तोड़ पाया। हालात यहां तक जा पहुँचे कि यूक्रेन की ज़मीन पर रूसी सेना को ज़्यादा नुकसान का सामना करना पड़ा है।
लेकिन अब रूस का जो नया पैंतरां सामने आया है, उस पर यकीन किया जाए तो मुमकिन है कि आने वाले कुछ दिनों में ये लड़ाई किसी खतरनाक अंजाम तक जरूर पहुँच सकती है, और अगर किसी अंजाम तक नहीं भी पहुँची तो भी ये किसी खतरनाक मोड़ तक जरूर पहुँच जाएगी।
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Russia Ukraine War: पिछले कुछ दिनों के दौरान रूस के तेवर इस जंग को लेकर पूरी तरह से बदले नज़र आ रहे हैं। उसने न सिर्फ अपनी सेना की कमान को बदल दिया बल्कि क्रीमिया ब्रिज पर हुए हमले के बाद से रूस का हमला करने का तौर तरीका ही बदल गया है।
लेकिन ताज़ा खबर जो सामने आ रही है वो बेहद डरावनी है क्योंकि रूस अब उन अफग़ान सैनिकों को जंग के मैदान में उतारन की तैयारी कर रहा है जो अमेरिका में ट्रेनिंग लेकर अफगानिस्तान की स्पेशल फोर्स में तैनात हो गए थे।
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बताया जा रहा है कि रूस ने अब अपनी सेना में उन सैनिकों को शामिल करने का इरादा किया है जो बाकायदा अमेरिका में ट्रेंड हो चुके हैं। ये ऐसे सैनिक हैं जिन्होंने अमेरिकी सैनिकों के साथ मिलकर अफग़ानिस्तान में तालिबान के खिलाफ मोर्चा संभाला था।
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मगर अफग़ानिस्तान में तालिबान की जीत के बाद इन सैनिकों को देश छोड़कर जाना पड़ा। बीते काफी अरसे से ये तमाम सैनिक पनाह पाने के लिए ईरान से लेकर रूस तक भटकते फिर रहे थे।
Russia Ukraine War: इन तमाम सैनिकों का कहना है कि वो फिलहाल कुछ भी नहीं कर रहे। ऐसे में उनके पास ये जंग लड़ने के अलावा कोई चारा नहीं बचा है। ऐसे में रूस के चैचन्य लड़ाकों के खतरनाक वैगनर ग्रुप ने इन ट्रेंड लड़ाकों को फौज में भर्ती करने और भाड़े का सैनिक बनाने का आइडिया दिया जिसे रूसी कमांडरों ने मान कर उसे अमली जामा भी पहना दिया है।
इन लड़ाकों को अच्छी तनख्वाह और उनके परिवार के लोगों को सुरक्षा देने का लालच देकर अफगान लड़ाकों को रूसी सेना की वर्दी पहानने की चाल चली गई है।
पता चला है कि ईरान के पहाड़ी इलाक़ों में अफग़ानिस्तान से भागे कई सैनिकों ने पनाह ले रखी है जो अब वहां से सीधे रूस का रुख कर रहे हैं। एक रूसी कमांडर के मुताबिक हालात ने बेशक इन अफग़ान सैनिकों को गर्दिश में पहुँचा दिया लेकिन असल में ये लड़ाकें बहुत होशियार हैं और किसी भी हालात में ये दुश्मनों का न सिर्फ मुकाबला कर सकते हैं
बल्कि पलक झपकते ही उन्हें मटियामेट भी कर सकते हैं। लिहाजा इन लड़ाकों के रूसी सेना में शामिल होते ही पूरे जंग का नक्शा ही बदल सकता है। और जो बाजी अभी तक पूरी तरह से हाथ में आती नहीं दिख रही, वो एक ही झटके में मुट्ठी में आ जाए।
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