अमेरिका गया, तालिबान आया अब कैसे होगा अफगानिस्तान का भविष्य ? अफगानिस्तान से अब कैसे चलेगा आगे रेस्क्यू ऑपरेशन ?
अमेरिका के वापस जाने के बाद तालिबान के अधीन Afghanistan का भविष्य ख़तरे में, बाकी बचे लोगों को निकालने का काम कैसे होगा, Get latest updates on Taliban news and crime news in Hindi on CrimeTak.
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सोमवार की देर रात को आखिरी अमेरिकी सैनिक ने काबुल की धरती को अलविदा कहा। इसी के बाद अब तालिबान का अफगानिस्तान (Afghanistan) पर एकछत्र राज स्थापित हो गया है। 14 अगस्त के बाद से 31 अगस्त तक काबुल से बड़ी मात्रा में लोगों का पलायन हुआ, लेकिन अभी भी कई लोग अफगानिस्तान में फंसे हैं जो बाहर आना चाहते हैं। ऐसे में अब सवाल ये है कि जब अमेरिका (America) ने अफगानिस्तान छोड़ दिया है तब
बाकी लोगों का रेस्क्यू कैसे किया जाएगा,
क्या काबुल एयरपोर्ट सुरक्षित रह पाएगा?
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अमेरिका के कितने नागरिक बचे हैं?
अमेरिका के मुताबिक, 14 अगस्त से 30 अगस्त तक करीब डेढ़ लाख लोगों ने काबुल एयरपोर्ट से उड़ान भरी है। आधिकारिक तौर पर अमेरिका ने अपना रेस्क्यू ऑपरेशन खत्म कर दिया है, लेकिन अभी भी करीब 200 अमेरिकी अफगानिस्तान में मौजूद हैं, जिन्हें देश को छोड़ना है। ऐसे में अब किस तरह से उन्हें रेस्क्यू किया जाएगा, ये देखने वाली बात होगी। अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन के मुताबिक, अमेरिका ने काबुल में अपना दूतावास और बाकी राजनीतिक कार्यों को फिलहाल पूरी तरह से बंद कर दिया है। अब अमेरिका जो भी ऑपरेशन करेगा, वह कतर की राजधानी दोहा से करेगा। कतर के साथ ही संपर्क कर अमेरिका अपने बाकी बचे लोगों को निकालने का काम करेगा और आगे का प्लान पूरा करेगा। अफगानिस्तान में काम करने वाले जो अमेरिका के राजनयिक थे, वह भी अब दोहा से ही काम करेंगे और अफगानिस्तान को लेकर आगे की रणनीति पर काम करेंगे।
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अमेरिका के वापस जाने के बाद काबुल एयरपोर्ट पर तालिबानी नेता
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अहम हो गया है कतर का रोल
अब कैसे चलेगी अफगानिस्तान की अर्थव्यवस्था ?
क्या तालिबान को है ISISI K का डर ?
तालिबान-अफगानिस्तान के मामले में कतर का रोल पहले से ही अहम रहा है। जब अमेरिका और तालिबान (Taliban) के बीच वार्ता शुरू हुई तब दोहा को ही चुना गया। दुनिया के साथ राजनीतिक तौर पर बातचीत करने के लिए दोहा ही तालिबान की मुख्य जगह है, उसके कई नेता दशकों से दोहा में रुके हुए हैं। अब आने वाले दिनों में दोहा पर दुनिया का ध्यान और भी जाएगा, क्योंकि अमेरिकी नागरिकों की तरह अन्य देशों के नागरिकों का रास्ता भी इसी शहर से निकल सकता है।
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