Court News : यौन उत्पीड़न मामले में लेखक को जमानत देने के आदेश पर हाई कोर्ट की रोक
Crime News : यौन उत्पीड़न (sexual harassment case) के मामले में लेखक को जमानत के निचली अदालत के आदेश पर उच्च न्यायालय की रोक
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Kerala News : केरल उच्च न्यायालय ने कोझिकोड की एक सत्र अदालत के उस विवादास्पद आदेश पर बुधवार को रोक लगा दी जिसमें लेखक और सामाजिक कार्यकर्ता सिविक चंद्रन को यौन उत्पीड़न (sexual harassment case) के मामले में अग्रिम जमानत दी गई थी।
उच्च न्यायालय ने सत्र अदालत द्वारा चंद्रन को दी गई अग्रिम जमानत को रद्द करने का अनुरोध करने वाली राज्य सरकार की याचिका पर स्थगन आदेश जारी किया। याचिका में सरकार ने कोझिकोड सत्र अदालत द्वारा 12 अगस्त को जारी आदेश में 74 वर्षीय लेखक को जमानत देते हुए की गई विवादास्पद टिप्पणी को हटाने का अनुरोध किया था।
सत्र अदालत ने कहा था कि प्रथम दृष्टया यौन उत्पीड़न का मामला नहीं बनता है क्योंकि महिला ने उत्तेजित करने वाली पोशाक पहन रखी थी। अदालत की इस टिप्पणी ने व्यापक स्तर पर एक विवाद उत्पन्न कर दिया। केरल महिला आयोग ने अदालत की इस टिप्पणी की कड़ी निंदा की थी।
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सरकार ने अपनी याचिका में कहा था कि इस तरह की टिप्पणी को हटाया जाना चाहिए क्योंकि इससे संविधान के तहत पीड़िता को प्राप्त स्वतंत्रता के अधिकार का हनन होता है।
याचिका में यह भी कहा गया कि निचली अदालत की टिप्पणी “अतार्किक” थी और यह मामले के तथ्यों की पड़ताल किये बिना की गई थी। चंद्रन यौन उत्पीड़न के दो मामलों में आरोपी बनाये गये हैं। एक मामला अनुसूचित जनजाति की एक लेखिका से संबद्ध है जिन्होंने अप्रैल में यहां एक पुस्तक प्रदर्शनी के दौरान चंद्रन पर यौन उत्पीड़न करने का आरोप लगाया था।
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वहीं, दूसरा मामला एक युवा लेखिका से संबद्ध है जिन्होंने फरवरी 2020 में शहर में एक पुस्तक प्रदर्शनी के दौरान चंद्रन पर यौन उत्पीड़न करने का आरोप लगाया था। चंद्रन को दो अगस्त को पहले मामले में अग्रिम जमानत मिली थी।
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