6 महीने बाद तिहाड़ जेल से बाहर आए संजय सिंह, फूलों से हुआ स्वागत, शराब घोटाले में संजय सिंह भी हैं आरोपी

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फाइल फोटो
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Sanjay Singh Jail: तिहाड़ जेल से AAP सांसद संजय सिंह बाहर निकल गए हैं। संजय सिंह को सशर्त जमानत मिली है। शराब घोटाले में संजय सिंह भी आरोपी हैं और पिछले 6 महीने से जेल में बंद थे। बुधवार शाम को जेल से बाहर आकर संजय सिंह ने कहा कि मुझे सलाखों के पीछे रखा गया था। मुझे पूरा भरोसा है कि जेल के ताले टूटेंगे। उन्होंने कहा कि जश्न मनाने का वक्त नहीं है, यह संघर्ष करने का वक्त है। इस दौरान कार्यकर्ताओं ने पूल बरसा कर उनका स्वागत किया।

संजय सिंह को सशर्त जमानत मिली

दिल्ली की एक अदालत ने आम आदमी पार्टी (आप) के नेता संजय सिंह को बुधवार को निर्देश दिया कि वह आबकारी ‘‘घोटाला’’ मामले में सबूतों के साथ छेड़छाड़ न करें या गवाहों को प्रभावित न करें। उच्चतम न्यायालय से सिंह को मंगलवार को जमानत मिलने के बाद विशेष न्यायाधीश कावेरी बावेजा ने नेता को तिहाड़ केंद्रीय कारागार से रिहा करने का आदेश पारित करने से पहले ये निर्देश दिये। न्यायाधीश ने सिंह को पासपोर्ट जमा कराने, राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) से बाहर जाने से पहले अपने यात्रा कार्यक्रम के बारे में सूचित करने और अपने फोन की ‘लोकेशन’ हमेशा चालू रखने का भी निर्देश दिया। 

जेल से बाहर फूलों से स्वागत

सिंह के वकील ने संक्षिप्त सुनवाई के दौरान अदालत को सूचित किया कि नेता की पत्नी इस मामले में आरोपी की जमानतदार होंगी। वकील ने अदालत से कहा, ‘‘मैं (सिंह) संसद का सदस्य हूं। मेरे भागने का कोई जोखिम नहीं है।’’ न्यायाधीश ने आरोपी को दो लाख रुपये का निजी मुचलका और इतनी ही राशि की जमानत राशि जमा करने का निर्देश दिया।  उच्चतम न्यायालय ने दिल्ली आबकारी नीति घोटाले से जुड़े धन शोधन मामले में आम आदमी पार्टी (आप) के नेता और राज्यसभा सदस्य संजय सिंह को राहत देते हुए मंगलवार को जमानत दे दी। इससे पहले प्रवर्तन निदेशालय ने कहा था कि अगर सिंह को मामले में जमानत दी जाती है तो उसे कोई आपत्ति नहीं है।

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यह संघर्ष करने का वक्त है

राज्यसभा सदस्य सदस्य को जमानत मिलने से आम आदमी पार्टी को लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान थोड़ी राहत मिली है जिसके राष्ट्रीय संयोजक और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल तथा पूर्व उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया समेत शीर्ष नेता मामले के सिलसिले में जेल में हैं। लोकसभा चुनाव के लिए मतदान 19 अप्रैल से एक जून के बीच सात चरणों में होगा तथा दिल्ली में मतदान 25 को होगा। मतगणना चार जून को होगी। न्यायमूर्ति संजीव खन्ना, न्यायमूर्ति दीपांकर दत्ता और न्यायमूर्ति पी बी वराले की पीठ ने छह महीने से जेल में बंद संजय सिंह को रिहा करने का आदेश दिया। पीठ ने कहा कि उनके पास से कोई पैसा नहीं मिला। 

यह जंग करने का वक्त है

पीठ ने कहा कि आप नेता अपनी राजनीतिक गतिविधियां जारी रख सकते हैं लेकिन इस मामले के संबंध में कोई बयान नहीं दे सकते। पीठ ने कहा कि सिंह पूरे मुकदमे के दौरान जमानत पर बाहर रहेंगे और उनकी जमानत की शर्तें विशेष अदालत तय करेगी। भोजनावकाश के बाद के सत्र में, ईडी की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल एसवी राजू ने कहा कि उन्होंने जांच एजेंसी से निर्देश ले लिए हैं और अगर सिंह को जमानत दी जाती है तो उसे कोई आपत्ति नहीं है। उन्होंने कहा, ‘‘मैं मामले के गुण-दोषों में गए बिना बयान दे रहा हूं।’’ पीठ ने बयान पर संज्ञान लेते हुए आदेश दिया, ‘‘एएसजी एसवी राजू को सुबह के सत्र में निर्देश लेने के लिए कहा गया था। 

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सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को उनकी रिहाई का आदेश दिया

उन्होंने कहा है कि अगर संजय सिंह को प्राथमिकी से जुड़ी कार्यवाही में जमानत पर रिहा किया जाता है तो उन्हें कोई आपत्ति नहीं है... दिए गए बयान के मद्देनजर, हम वर्तमान अपील की अनुमति देते हैं और निर्देश देते हैं कि संजय सिंह को नियम और शर्तों पर मुकदमे के लंबित रहने के दौरान जमानत पर रिहा किया जाए।’’ पीठ ने कहा कि सिंह को दी गई जमानत को ‘मिसाल’ के तौर पर नहीं लिया जाएगा। इसका आशय हुआ कि इस जमानत आदेश से अरविंद केजरीवाल समेत जेल में बंद अन्य आप नेताओं को ज्यादा राहत नहीं मिलने वाली है। पीठ ने इससे पहले सुबह के सत्र में राजू से इस बारे में निर्देश प्राप्त करने को कहा था कि क्या ईडी को सिंह की और हिरासत की जरूरत है। शीर्ष अदालत सिंह की जमानत याचिका पर और धनशोधन मामले में गिरफ्तारी और रिमांड को चुनौती देने वाली अपील पर सुनवाई कर रही थी।
 

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